Saturday, August 27, 2016

शादी के बाद बेड़रुम कैसे
महकता है

3 साल तक-

परफ्यूम
चाकलेट
स्ट्राबेरी
ग्रेप्स

3 साल बाद-

जानसन पावड़र
जानसन क्रीम
बेबी लोशन
हगीस ड़ायपर

15 साल बाद-

झंड़ू बाम
विक्स
आयोडेक्स
मूव

40 साल बाद-

अगरबत्ती
धुप बत्ती

आदमी के हालात कैसे बदलते हैं, ज़रा गौर कीजिये -

शादी के पहले – हीरो नं. 1
शादी के बाद – कुली नं. 1

शादी के पहले – मैंने प्यार किया
शादी के बाद – ये मैंने क्या किया

शादी के पहले – जानेमन मत जाओ
शादी के बाद – जान मत खाओ

शादी के पहले – तुम बिन रहा ना जाए
शादी के बाद – तुमको सहा ना जाए

शादी के पहले – कुछ तो बोलो
शादी के बाद – कभी चुप भी हो लो

शादी के पहले – आय लव यू
शादी के बाद – आज फिर आलू

शादी के पहले – मिलने कब आओगी
शादी के बाद – मायके कब जाओगी
एक दिन रुक्मणी ने भोजन के बाद,
श्री कृष्ण को दूध पीने को दिया।

दूध ज्यदा गरम होने के कारण
श्री कृष्ण के हृदय में लगा
और
उनके श्रीमुख से निकला-
" हे राधे ! "

सुनते ही रुक्मणी बोली-
प्रभु !
ऐसा क्या है राधा जी में,
जो आपकी हर साँस पर उनका ही नाम होता है ?

मैं भी तो आपसे अपार प्रेम करती हूँ...
फिर भी,
आप हमें नहीं पुकारते !!

श्री कृष्ण ने कहा -देवी !
आप कभी राधा से मिली हैं ?
और मंद मंद मुस्काने लगे...

अगले दिन रुक्मणी राधाजी से मिलने उनके महल में पहुंची ।

राधाजी के कक्ष के बाहर अत्यंत खूबसूरत स्त्री को देखा...
और,
उनके मुख पर तेज होने कारण उसने सोचा कि-
ये ही राधाजी है और उनके चरण छुने लगी !

तभी वो बोली -आप कौन हैं ?

तब रुक्मणी ने अपना परिचय दिया और आने का कारण बताया...

तब वो बोली-
मैं तो राधा जी की दासी हूँ।

राधाजी तो सात द्वार के बाद आपको मिलेंगी !!

रुक्मणी ने सातो द्वार पार किये...
और,
हर द्वार पर एक से एक सुन्दर और तेजवान दासी को देख सोच रही थी क़ि-
अगर उनकी दासियाँ इतनी रूपवान हैं...
तो,
राधारानी स्वयं कैसी होंगी ?

सोचते हुए राधाजी के कक्ष में पहुंची...

कक्ष में राधा जी को देखा-
अत्यंत रूपवान तेजस्वी जिसका मुख सूर्य से भी तेज चमक रहा था।
रुक्मणी सहसा ही उनके चरणों में गिर पड़ी...

पर,
ये क्या राधा जी के पुरे शरीर पर तो छाले पड़े हुए है !

रुक्मणी ने पूछा-
देवी आपके शरीर पे ये छाले कैसे ?

तब राधा जी ने कहा-
देवी !
कल आपने कृष्णजी को जो दूध दिया...
वो ज्यदा गरम था !

जिससे उनके ह्रदय पर छाले पड गए...
और,
उनके ह्रदय में तो सदैव मेरा ही वास होता है..!!

इसलिए कहा जाता है-

बसना हो तो...
'ह्रदय' में बसो किसी के..!

'दिमाग' में तो..
लोग खुद ही बसा लेते है..!!
🌹🌹🌹🌹🌹🌹
🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹
 ❄❄❄❄❄❄❄
╔══════════════════╗
║ प्रेम से कहिये जय श्री राधे ║
╚═════════════════
*Story of the day* – कछुआ और खरगोश – वो कहानी जो आपने नहीं सुनी…

आपने कछुए और खरगोश की कहानी ज़रूर सुनी होगी, *just to remind you;* short में यहाँ बता देता हूँ:

एक बार खरगोश को अपनी तेज चाल पर घमंड हो गया  और वो जो मिलता उसे रेस लगाने के लिए *challenge* करता रहता।

कछुए ने उसकी चुनौती स्वीकार कर ली।

रेस हुई। खरगोश तेजी से भागा और काफी आगे जाने पर पीछे मुड़ कर देखा, कछुआ कहीं आता नज़र नहीं आया, उसने मन ही मन सोचा कछुए को तो यहाँ तक आने में बहुत समय लगेगा, चलो थोड़ी देर आराम कर लेते हैं, और वह एक पेड़ के नीचे लेट गया। लेटे-लेटे  कब उसकी आँख लग गयी पता ही नहीं चला।

उधर कछुआ धीरे-धीरे मगर लगातार चलता रहा। बहुत देर बाद जब खरगोश की आँख खुली तो कछुआ फिनिशिंग लाइन तक पहुँचने वाला था। खरगोश तेजी से भागा, लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी और कछुआ रेस जीत गया।

*Moral of the story: Slow and steady wins the race.* धीमा और लगातार चलने वाला रेस जीतता है।

ये कहानी तो हम सब जानते हैं, अब आगे की कहानी देखते हैं:


रेस हारने के बाद खरगोश निराश हो जाता है, वो अपनी हार पर चिंतन करता है और उसे समझ आता है कि वो *overconfident* होने के कारण ये रेस हार गया…उसे अपनी मंजिल तक पहुँच कर ही रुकना चाहिए था।

अगले दिन वो फिर से कछुए को दौड़ की चुनौती देता है। कछुआ पहली रेस जीत कर आत्मविश्वाश से भरा होता है और तुरंत मान जाता है।

रेस होती है, इस बार खरगोश बिना रुके अंत तक दौड़ता जाता है, और कछुए को एक बहुत बड़े अंतर से हराता है।

*Moral of the story: Fast and consistent will always beat the slow and steady.* तेज और लगातार चलने वाला धीमे और लगातार चलने वाले से हमेशा जीत जाता है।

यानि *slow and steady* होना अच्छा है लेकिन *fast and consistent*   होना और भी अच्छा है।

कहानी अभी बाकी है जी….

इस बार कछुआ कुछ सोच-विचार करता है और उसे ये बात समझ आती है कि जिस तरह से अभी रेस हो रही है वो कभी-भी इसे जीत नहीं सकता।

वो एक बार फिर खरगोश को एक नयी रेस के लिए चैलेंज करता है, पर इस बार वो रेस का रूट अपने मुताबिक रखने को कहता है। खरगोश तैयार हो जाता है।

रेस शुरू होती है। खरगोश तेजी से तय स्थान की और भागता है, पर उस रास्ते में एक तेज धार नदी बह रही होती है, बेचारे खरगोश को वहीँ रुकना पड़ता है। कछुआ धीरे-धीरे चलता हुआ वहां पहुँचता है, आराम से नदी पार करता है और लक्ष्य तक पहुँच कर रेस जीत जाता है।

*Moral of the story: Know your core competencies and work accordingly to succeed.* पहले अपनी *strengths* को जानो और उसके मुताबिक काम करो जीत ज़रुर मिलेगी.

कहानी अभी भी बाकी है जी …..

इतनी रेस करने के बाद अब कछुआ और खरगोश अच्छे  दोस्त बन गए थे और एक दुसरे की ताकत और कमजोरी समझने लगे थे। दोनों ने मिलकर विचार किया कि अगर हम एक दुसरे का साथ दें तो कोई भी रेस आसानी से जीत सकते हैं।

इसलिए दोनों ने आखिरी रेस एक बार फिर से मिलकर दौड़ने का फैसला किया, पर इस बार *as a competitor* नहीं बल्कि *as a team* काम करने का निश्चय लिया।

दोनों स्टार्टिंग लाइन पे खड़े हो गए…. *get set go* …. और तुरंत ही खरगोश ने कछुए को ऊपर उठा लिया और तेजी से दौड़ने लगा। दोनों जल्द ही नदी के किनारे पहुँच गए। अब कछुए की बारी थी, कछुए ने खरगोश को अपनी पीठ बैठाया और दोनों आराम से नदी पार कर गए। अब एक बार फिर खरगोश कछुए को उठा फिनिशिंग लाइन की ओर दौड़ पड़ा और दोनों ने साथ मिलकर रिकॉर्ड टाइम में रेस पूरी कर ली। दोनों बहुत ही खुश और संतुष्ट थे, आज से पहले कोई रेस जीत कर उन्हें इतनी ख़ुशी नहीं मिली थी।

*Moral of the story: Team Work is always better than individual performance.* टीम वर्क हमेशा व्यक्तिगत प्रदर्शन से बेहतर होता है।

*Individually* चाहे आप जितने बड़े *performer* हों लेकिन अकेले दम पर हर मैच नहीं जीता सकते।

अगर लगातार जीतना है तो आपको टीम में काम करना सीखना होगा, आपको अपनी काबिलियत के आलावा दूसरों की ताकत को भी समझना होगा। और जब जैसी *situation* हो, उसके हिसाब से टीम की *strengths* को *use* करना होगा।
माता पिता के बाद सबसे
ज्यादा प्रेरणा कौन देता है???
.
.
. .
बस कंडक्टर.

'चलिए चलिए , आगे बढिए, आगे बढिए
आगे बढ़ते रहिये'
😃😆😂
स्त्री का अर्थ होता है शक्ति
और
पुरुष का सहनशक्ति ......  
  कैसे..?

 यह देखिये ......

दिल्ली से लखनऊ जाती हुई बस में, एक पुरुष अगर गलती से नींद की झपकी लेते हुए अपना सिर बाजू में बैठी स्त्री के कंधे से टकरा देता है, तो बदले में उसे जो मार पड़ती है -...😁 यह है... "शक्ति"

लेकिन अगर उसी बस में,... उसी पुरुष के कंधे पर कहीं उसी स्त्री ने गलती से नींद की झपकी लेते हुए अपना सिर रख दिया तो वह बेचारा जो बरेली उतरने वाला होता है, उस स्त्री को लखनऊ तक छोड़ के आता है..😛
 - यह है सहनशक्ति..

😊😜😄😎
💍💎पत्नियों का विकास क्रम 💎💍

1960 में -

पति- एक कप चाय !
पत्नी- (पहले से.. लिए खड़ी
मिलती थी)

1970 में -

पति- एक कप चाय !
पत्नी- अभी लाई जी।

1980 में -

पति-एक कप चाय
पत्नी- लाती हूँ।

1990 में -

पति- एक कप चाय
पत्नी- ला रही हूँ , थोडा सब्र रखो।

2000 में -

पति- एक कप चाय
पत्नी- लाऊंगी अभी..,
सीरियल में.. ब्रेक आने दो ,

2010 में-

पति- एक कप चाय
पत्नी- हल्ला न करो खाली हो कर देती हूँ नहीं तो खुद से बना के पी लो

Now a days -
(2016)
पति- एक कप चाय !
पत्नी- क्या कहा.....??

पति- एक कप चाय बनाने जा रहा था , सोचा तुमसे भी..
         पूछ लूँ.., पियोगी क्या??
😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢
💍💎पत्नियों का विकास क्रम 💎💍

1960 में -

पति- एक कप चाय !
पत्नी- (पहले से.. लिए खड़ी
मिलती थी)

1970 में -

पति- एक कप चाय !
पत्नी- अभी लाई जी।

1980 में -

पति-एक कप चाय
पत्नी- लाती हूँ।

1990 में -

पति- एक कप चाय
पत्नी- ला रही हूँ , थोडा सब्र रखो।

2000 में -

पति- एक कप चाय
पत्नी- लाऊंगी अभी..,
सीरियल में.. ब्रेक आने दो ,

2010 में-

पति- एक कप चाय
पत्नी- हल्ला न करो खाली हो कर देती हूँ नहीं तो खुद से बना के पी लो

Now a days -
(2016)
पति- एक कप चाय !
पत्नी- क्या कहा.....??

पति- एक कप चाय बनाने जा रहा था , सोचा तुमसे भी..
         पूछ लूँ.., पियोगी क्या??
😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢😢

Wednesday, August 24, 2016

*SIX IMPORTANT GUIDELINES*
*1*.When you are alone, mind your thoughts.
*2*.When you are with friends, mind your tongue.
*3*.When you are Angry, mind your temper.
*4*.when you are with a group,mind your Behaviour.
*5*.When you are in trouble, mind your emotions.:-)
*6*.When God starts blessing you, mind your ego.

Sunday, August 21, 2016

हम लोग,
जो 1950 से 1990
 के बीच जन्में है,
 हमें विशेष आशीर्वाद प्राप्त हैँ ...
हम ना अत्याधुनिक पीढ़ी है ना अत्यन्त प्राचीन ....

....और ऐसा भी नही कि
 आधुनिक संसाधनों से
हमें कोई परहेज है......!!!

         लेकिन.....

👍 हमें कभी भी
जानवरों की तरह किताबों को
बोझ की तरह ढो कर स्कूल
नही ले जाना पड़ा ।

👌हमारें माता- पिता को
 हमारी पढाई को लेकर
कभी अपने programs
आगे पीछे नही करने पड़ते थे...!

👍 स्कूल के बाद हम
देर सूरज डूबने तक खेलते थे  

👍 हम अपने
real दोस्तों के साथ खेलते थे;
net फ्रेंड्स के साथ नही ।


👍 जब भी हम प्यासे होते थे
तो नल से पानी पीना
safe होता था और
हमने कभी mineral water bottle को नही ढूँढा ।


👍 हम कभी भी चार लोग
गन्ने का जूस उसी गिलास से ही
पी करके भी बीमार नही पड़े ।


👍 हम एक प्लेट मिठाई
और चावल रोज़ खाकर भी
मोटे नही हुए ।


👍 नंगे पैर घूमने के बाद भी
 हमारे पैरों को कुछ नही होता था ।


👍 हमें healthy रहने
के लिए Supplements नही
लेने पड़ते थे ।

👍 हम कभी कभी अपने खिलोने
खुद बना कर भी खेलते थे ।

👍 हम ज्यादातर अपने parents के साथ या grand- parents के पास ही रहे ।


👌हम अक्सर 4/6 भाई बहन
एक जैसे कपड़े पहनना
शान समझते थे.....
common. वाली नही
एकतावाली feelings ...
enjoy करते थे......!


👍 हम डॉक्टर के पास
नहीं जाते थे,
पर डॉक्टर हमारे पास आते थे
हमारे ज़्यादा बीमार होने पर ।


👍 हमारे पास
न तो Mobile, DVD's,
PlayStation, Xboxes,
PC, Internet, chatting,
क्योंकि
हमारे पास real दोस्त थे ।


👍 हम दोस्तों के घर
 बिना बताये जाकर
मजे करते थे और
उनके साथ खाने के
मजे लेते थे।
कभी उन्हें कॉल करके
appointment नही लेना पड़ा ।


👍 हम एक अदभुत और
सबसे समझदार पीढ़ी है क्योंकि
हम अंतिम पीढ़ी हैं जो की
अपने parents की सुनते हैं...
और
साथ ही पहली पीढ़ी
जो की
अपने बच्चों की सुनते हैं ।


We are not special,
but.
We are
LIMITED EDITION
and we are enjoying the
Generation Gap......

 share if u r agree



To all parents and even grandparents, as well as teachers, here are some unnbelievably simple parenting ideas that work.👇

1. Children need a minimum of eight touches during a day to feel connected to a parent.

If they’re going through a particularly challenging time, it’s a minimum of 12 a day. This doesn’t have to be a big deal; it could be the straightening of a collar, a pat on the shoulder or a simple hug.

2. Each day, children need one meaningful eye-to-eye conversation with a parent.

It is especially important for babies to have that eye contact, but children of all ages need us to slow down and look them in the eyes.

3. There are nine minutes during the day that have the greatest impact on a child:

the first three minutes right after they wake up
the three minutes after they come home from school
the last three minutes of the day before they go to bed
We need to make those moments special and help our children feel loved.
These are simple, right? Nothing really earth-shattering here.

Try it.
 1⃣ Whenever u feel like scolding or beating your child, take a deep breath, or count 1-10 and then act.
2⃣ Let's ask them to study their favorite subject on their own..
3⃣ Send them to one exam without studying at all..
4⃣ Remember what our kids are learning in 5th std is taught to 7th std abroad..
5⃣ Lets keep our kids out of unwanted competition.
6⃣ 80% of what kids are learning ,won't be useful to them in future..
7⃣ Our kids can really afford to do whatever they want to do in future .
8⃣ Higher degrees don't guaranty success and happiness..
9⃣ Not all the highly educated people do well professionally.
And not all who do well professionally are the happiest ones..
🔟 Kids are always in a party mood.. don't spoil their childhood. Support and let them be what they want to be. 👍😃

Pass this on to as many teachers and parents as u can..
And change the way we look at our kids and their future.



To all parents and even grandparents, as well as teachers, here are some unnbelievably simple parenting ideas that work.👇

1. Children need a minimum of eight touches during a day to feel connected to a parent.

If they’re going through a particularly challenging time, it’s a minimum of 12 a day. This doesn’t have to be a big deal; it could be the straightening of a collar, a pat on the shoulder or a simple hug.

2. Each day, children need one meaningful eye-to-eye conversation with a parent.

It is especially important for babies to have that eye contact, but children of all ages need us to slow down and look them in the eyes.

3. There are nine minutes during the day that have the greatest impact on a child:

the first three minutes right after they wake up
the three minutes after they come home from school
the last three minutes of the day before they go to bed
We need to make those moments special and help our children feel loved.
These are simple, right? Nothing really earth-shattering here.

Try it.
 1⃣ Whenever u feel like scolding or beating your child, take a deep breath, or count 1-10 and then act.
2⃣ Let's ask them to study their favorite subject on their own..
3⃣ Send them to one exam without studying at all..
4⃣ Remember what our kids are learning in 5th std is taught to 7th std abroad..
5⃣ Lets keep our kids out of unwanted competition.
6⃣ 80% of what kids are learning ,won't be useful to them in future..
7⃣ Our kids can really afford to do whatever they want to do in future .
8⃣ Higher degrees don't guaranty success and happiness..
9⃣ Not all the highly educated people do well professionally.
And not all who do well professionally are the happiest ones..
🔟 Kids are always in a party mood.. don't spoil their childhood. Support and let them be what they want to be. 👍😃

Pass this on to as many teachers and parents as u can..
And change the way we look at our kids and their future.

Saturday, August 20, 2016

सब लोग पूछते हैं,मुझे तुम से प्यार क्यों है !
दिन रात उस अजीज का मुझे इंतजार क्यों है!!

कहते हो पास ही है, दिखता कहीं नहीं है !
मिलने को दिल तुम्हारा फिर बेकरार क्यों है!!

दुनिया हसीन है,हर चीज है सुहानी ,
सबसे अलग तुम्हारा ,वह नसीबेयार क्यों है !!

वह नूर है तो केवल ,खुदअपनी ही नजर का,
दुनिया को क्या बताये,सपनो का हार क्यों है !!

तू फूल है तो केवल ,अपनी आराधना का,
खुशबू से कौन पूछे ,वह गुलबहार क्यों है !!

हर फूल हर कली मे ,हसताँ है खिल खिला के,
तेरी ही न्यामतों पर ये जाँ निशांर क्यों है!!

मुस्किल है कुछ बताना ,बिहवल लगन लगी की,
मैं तेरा प्यार क्यों हूं, तू मेरा यार क्यों है!!

Thursday, August 18, 2016

www.the-comforter.org
प्रेरणादायिक सुविचार जो जिंदगी बदल दे.

Quote 1. जब लोग आपको Copy करने लगें तो समझ लेना जिंदगी में Success हो रहे हों.

Quote 2. कमाओ…कमाते रहो और तब तक कमाओ, जब तक महंगी चीज सस्ती न लगने लगे.

Quote 3. जिस व्यक्ति का लालच खत्म, उसकी तरक्की भी खत्म.

Quote 4. यदि “Plan A” काम नही कर रहा, तो कोई बात नही 25 और Letters बचे हैं उन पर Try करों.

Quote 5. जिस व्यक्ति ने कभी गलती नहीं कि उसने कभी कुछ नया करने की कोशिश नहीं की.

Quote 6. भीड़ हौंसला तो देती हैं लेकिन पहचान छिन लेती हैं.

Quote 7. अगर किसी चीज़ को दिल से चाहो तो पूरी कायनात उसे तुमसे मिलाने में लग जाती हैं.

Quote 8. कोई भी महान व्यक्ति अवसरों की कमी के बारे में शिकायत नहीं करता.

Quote 9. महानता कभी ना गिरने में नहीं है, बल्कि हर बार गिरकर उठ जाने में है.

Quote 10. जिस चीज में आपका Interest हैं उसे करने का कोई टाईम फिक्स नही होता. चाहे रात के 1 ही क्यों न बजे हो.

Quote 11. अगर आप चाहते हैं कि, कोई चीज अच्छे से हो तो उसे खुद कीजिये.

Quote 12. सिर्फ खड़े होकर पानी देखने से आप नदी नहीं पार कर सकते.

Quote 13. जीतने वाले अलग चीजें नहीं करते, वो चीजों को अलग तरह से करते हैं.

Quote 14. जितना कठिन संघर्ष होगा जीत उतनी ही शानदार होगी.

Quote 15. यदि लोग आपके लक्ष्य पर हंस नहीं रहे हैं तो समझो आपका लक्ष्य बहुत छोटा हैं.

Quote 16. विफलता के बारे में चिंता मत करो, आपको बस एक बार ही सही होना हैं.

Quote 17. सबकुछ कुछ नहीं से शुरू हुआ था.

Quote 18. हुनर तो सब में होता हैं फर्क बस इतना होता हैं किसी का छिप जाता हैं तो किसी का छप जाता हैं.

Quote 19. दूसरों को सुनाने के लिऐ अपनी आवाज ऊँची मत करिऐ, बल्कि अपना व्यक्तित्व इतना ऊँचा बनाऐं कि आपको सुनने की लोग मिन्नत करें.

Quote 20. अच्छे काम करते रहिये चाहे लोग तारीफ करें या न करें आधी से ज्यादा दुनिया सोती रहती है ‘सूरज’ फिर भी उगता हैं.

Quote 21. पहचान से मिला काम थोडे बहुत समय के लिए रहता हैं लेकिन काम से मिली पहचान उम्रभर रहती हैं.

Quote 22. जिंदगी अगर अपने हिसाब से जीनी हैं तो कभी किसी के फैन मत बनो.

Quote 23. जब गलती अपनी हो तो हमसे बडा कोई वकील नही जब गलती दूसरो की हो तो हमसे बडा कोई जज नही.

Quote 24. आपका खुश रहना ही आपका बुरा चाहने वालो के लिए सबसे बडी सजा हैं.

Quote 25. कोशिश करना न छोड़े, गुच्छे की आखिरी चाबी भी ताला खोल सकती हैं.

Quote 26. इंतजार करना बंद करो, क्योकिं सही समय कभी नही आता.

Quote 27. जिस दिन आपके Sign #Autograph में बदल जाएंगे, उस दिन आप बड़े आदमी बन जाओगें.

Quote 28. काम इतनी शांति से करो कि सफलता शोर मचा दे.

Quote 29. तब तक पैसे कमाओ जब तक तुम्हारा बैंक बैलेंस तुम्हारे फोन नंबर की तरह न दिखने लगें.

Quote 30. अगर एक हारा हुआ इंसान हारने के बाद भी मुस्करा दे तो जीतने वाला भी जीत की खुशी खो देता हैं.

👌आर्ट ऑफ लिविंग... की कुछ अच्छी बातें 👌

👉!!जीवन में आने वाली हर चुनौती को स्वीकार करे।👈

👆अपनी पसंद की चीजों के लिये खर्चा करें।👆

👆इतना हंसिये के पेट दर्द हो जाये।👆

👆आप कितना भी बुरा नाचते हो ,फिर भी नाचिये।उस खुशी को महसूस किजिये।👆

👆फोटोज् के लिये पागलों वाली पोज् दिजिये।बिल्कुल छोटे बच्चे बन जाइये।👆

👌हर पल को खुशी से जीने को ही जिंदगी कहते है।👌
👆"जिंदगी है छोटी," हर पल में खुश रहो👆
👆काम में खुश रहो,"आराम में खुश रहो👆
👉"आज पनीर नहीं," दाल में ही खुश रहो👈

👆"आज गाड़ी नहीं," पैदल ही खुश रहो 👆

👆"जिस को देख नहीं सकते," उसकी आवाज से ही खुश रहो👆
👉"जिसको पा नहीं सकते,"उसको सोच कर ही खुश रहो👈
👌"बीता हुआ कल जा चुका है," उसकी मीठी याद में ही खुश रहो👌
👆"आने वाले कल का पता नहीं," इंतजार में ही खुश रहो 👆
😄"हंसता हुआ बीत रहा है पल," आज में ही खुश रहो😄
👍"जिंदगी है छोटी," हर हाल में खुश रहो👍

👉अगर दिल को छुआ हो तो जवाब दो, वरना बिना जवाब के भी खुश रहो 👈


👌आर्ट ऑफ लिविंग... की कुछ अच्छी बातें 👌

👉!!जीवन में आने वाली हर चुनौती को स्वीकार करे।👈

👆अपनी पसंद की चीजों के लिये खर्चा करें।👆

👆इतना हंसिये के पेट दर्द हो जाये।👆

👆आप कितना भी बुरा नाचते हो ,फिर भी नाचिये।उस खुशी को महसूस किजिये।👆

👆फोटोज् के लिये पागलों वाली पोज् दिजिये।बिल्कुल छोटे बच्चे बन जाइये।👆

👌हर पल को खुशी से जीने को ही जिंदगी कहते है।👌
👆"जिंदगी है छोटी," हर पल में खुश रहो👆
👆काम में खुश रहो,"आराम में खुश रहो👆
👉"आज पनीर नहीं," दाल में ही खुश रहो👈

👆"आज गाड़ी नहीं," पैदल ही खुश रहो 👆

👆"जिस को देख नहीं सकते," उसकी आवाज से ही खुश रहो👆
👉"जिसको पा नहीं सकते,"उसको सोच कर ही खुश रहो👈
👌"बीता हुआ कल जा चुका है," उसकी मीठी याद में ही खुश रहो👌
👆"आने वाले कल का पता नहीं," इंतजार में ही खुश रहो 👆
😄"हंसता हुआ बीत रहा है पल," आज में ही खुश रहो😄
👍"जिंदगी है छोटी," हर हाल में खुश रहो👍

👉अगर दिल को छुआ हो तो जवाब दो, वरना बिना जवाब के भी खुश रहो 👈


पत्नी :- एक गेम खेलते हैं,

पति :- कौन सा गेम ???

पत्नी :- अगर मैं कलर (COLOUR)
का नाम लूँ तो तुम लेफ्ट दीवार को
हाथ लगाना और फल (FRUIT)का
नाम लूँ तो राईट दीवार को हाथ लगाना

पति :- अगर मैं जीत गया तो ???

पत्नी :- जो हारेगा वो जीतने वाले की हर
बात मानेगा और वो भी जिंदगी भर !

पति :- ये गेम तो मैं जीतूंगा चलो खेलते हैं !

पत्नी :- तो ठीक है रेडी स्टेडी गो..ऑरेंज
(ORANGE ),,,,,,,,,,

पति तीन दिन से सोच में पड़ा हुआ है कि ये कलर बोली या फ्रूट ??

*बीवी से कभी पंगा नही लेने का*🤔😜
बाजार करके घर लौटते वक्त कूछ खाने का मन हुआ ,
इसलिये वो लडकी पानीपुरी वाले के ठेले के पास रुकी ..
अकेली लडकी को देखकर बाजू में ही पान
की टपरी पर बैठे कुछ लडके उस ठेले के पास आ गए ..
.
उन लडको ने उस लडकी को छेडना शुरू कर दिया..
अश्लिल गाने और भाषा चालु हो गयी..
गंदी नज़र उस लडकी के शरीर के उपर से घुमने लगी..
बिचारी लडकी पहले ही पैसे दे चुकी थी , इसलिए वह जा भी नही सकती थी
अपनी ओढणी संभालते हुए..
"भैया जल्दी दो"..
इसके अलावा वह कूछ बोल नही पा रही थी
घबराई हुई उसकी नज़र सिर्फ नीचे देख रही थी..
.
उतने में वहा और एक लडका अपनी बाईक लेकर उस लडकी के पास आकर रुख गया..
.
पहले ही डरी हुई वो लडकी एक और लडके के आने से और ज्यादा डर गई..
.
तब वो बाईक वाला लडका बोला..
" अरे अंजली तुम यहाँ अपने भाई को छोडकर अकेले ही
पानीपुरी खा रही हो ?"
.
बाकी लडको को खतरा दिखते ही वे सब वहा से चले गए
.
अपने उपर आया हुआ खतरा टल गया ये देखकर लडकी को थोडा safe महसूस हुआ ..
.
लडकी ने उस बाईक वाले लडके को पूछा ..
"माफ कीजिये पर मेरा नाम अंजली नही, पुर्वा है"
.
वो लडका मुस्कुराते हुए बोला "क्या फर्क पडता है.. तुम हो तो किसी की बहन ही "?
.
और वो लडका हेलमेट पहनकर बाईक से चला गया.
.
उस जाते हुए लडके के तरफ देखकर लडकी को बहुत गर्व हुआ
क्यूंकि ...
.
उसके टी शर्टापर पीछे लिखा हुआ था..........
💐 💐 Indian army 💐 💐
तो चलिये ,इस रक्षाबंधन को मिलकर प्रतिज्ञा करे कि
हम अपनी बहनो के साथ दुसरो की बहनो की भी रक्षा करेंगे

Wednesday, August 17, 2016

संस्कार
बहु ने आइने मेँ लिपिस्टिक ठिक
करते हुऐ कहा -:
"माँ जी, आप
अपना खाना बना लेना,
मुझे और इन्हें आज एक
पार्टी में जाना है ...!!
.
"बुढ़ी माँ ने कहा -: "बेटी मुझे
गैस वाला
चुल्हा चलाना नहीं आता ...!!
.
"तो बेटे ने कहा -:
"माँ, पास वाले मंदिर में आज
भंडारा है ,
तुम वहाँ चली जाओ
ना खाना बनाने की कोई
नौबत
ही नहीं आयेगी....!!!
.
"माँ चुपचाप अपनी चप्पल पहन
कर मंदिर
की ओर
हो चली.....
यह पुरा वाक्या 10 साल
का बेटा रोहन सुन
रहा था |
.
पार्टी में जाते वक्त रास्ते में
रोहन ने अपने
पापा से
कहा -:
"पापा, मैं जब बहुत
बड़ा आदमी बन जाऊंगा ना
तब मैं भी अपना घर
किसी मंदिर के पास
ही बनाऊंगा ....!!!
.
माँ ने उत्सुकतावश पुछा -:
क्यों बेटा ?
....रोहन ने जो जवाब दिया उसे
सुनकर उस बेटे
और बहु
का सिर शर्म से नीचे झुक
गया जो
अपनी माँ को मंदिर में छोड़ आए
थे.....
.
रोहन ने कहा -: क्योंकि माँ,
जब मुझे भी किसी दिन
ऐसी ही किसी
पार्टी में
जाना होगा तब तुम
भी तो किसी मंदिर में
भंडारे में खाना खाने जाओगी ना
और मैं
नहीं चाहता कि तुम्हें कहीं दूर
के मंदिर में
जाना पड़े....!!!!
.
पत्थर तब तक सलामत है
जब तक
वो पर्वत से जुड़ा है
.
पत्ता तब तक सलामत
है जब तक वो पेड़ से जुड़ा है
.
इंसान तब तक
सलामत है
जब तक वो परिवार से
जुड़ा है
.
क्योंकि परिवार से अलग होकर
आज़ादी तो मिल जाती है
लेकिन संस्कार चले
जाते हैं ..
.
एक कब्र पर लिखा था...
.
"किस को क्या इलज़ाम दूं
दोस्तो...,
जिन्दगी में सताने वाले भी अपने
थे,
और दफनाने वाले
भी अपने थे...
.
अच्छी लगे तो आगे जरुर शेयर
करना
: न अपनों से खुलता है,
न ही गैरों से खुलता है.
ये जन्नत का दरवाज़ा है,
मेरी माँ के पैरो से खुलता है.!!
💕 लव यू माँ 💕
संस्कार
बहु ने आइने मेँ लिपिस्टिक ठिक
करते हुऐ कहा -:
"माँ जी, आप
अपना खाना बना लेना,
मुझे और इन्हें आज एक
पार्टी में जाना है ...!!
.
"बुढ़ी माँ ने कहा -: "बेटी मुझे
गैस वाला
चुल्हा चलाना नहीं आता ...!!
.
"तो बेटे ने कहा -:
"माँ, पास वाले मंदिर में आज
भंडारा है ,
तुम वहाँ चली जाओ
ना खाना बनाने की कोई
नौबत
ही नहीं आयेगी....!!!
.
"माँ चुपचाप अपनी चप्पल पहन
कर मंदिर
की ओर
हो चली.....
यह पुरा वाक्या 10 साल
का बेटा रोहन सुन
रहा था |
.
पार्टी में जाते वक्त रास्ते में
रोहन ने अपने
पापा से
कहा -:
"पापा, मैं जब बहुत
बड़ा आदमी बन जाऊंगा ना
तब मैं भी अपना घर
किसी मंदिर के पास
ही बनाऊंगा ....!!!
.
माँ ने उत्सुकतावश पुछा -:
क्यों बेटा ?
....रोहन ने जो जवाब दिया उसे
सुनकर उस बेटे
और बहु
का सिर शर्म से नीचे झुक
गया जो
अपनी माँ को मंदिर में छोड़ आए
थे.....
.
रोहन ने कहा -: क्योंकि माँ,
जब मुझे भी किसी दिन
ऐसी ही किसी
पार्टी में
जाना होगा तब तुम
भी तो किसी मंदिर में
भंडारे में खाना खाने जाओगी ना
और मैं
नहीं चाहता कि तुम्हें कहीं दूर
के मंदिर में
जाना पड़े....!!!!
.
पत्थर तब तक सलामत है
जब तक
वो पर्वत से जुड़ा है
.
पत्ता तब तक सलामत
है जब तक वो पेड़ से जुड़ा है
.
इंसान तब तक
सलामत है
जब तक वो परिवार से
जुड़ा है
.
क्योंकि परिवार से अलग होकर
आज़ादी तो मिल जाती है
लेकिन संस्कार चले
जाते हैं ..
.
एक कब्र पर लिखा था...
.
"किस को क्या इलज़ाम दूं
दोस्तो...,
जिन्दगी में सताने वाले भी अपने
थे,
और दफनाने वाले
भी अपने थे...
.
अच्छी लगे तो आगे जरुर शेयर
करना
: न अपनों से खुलता है,
न ही गैरों से खुलता है.
ये जन्नत का दरवाज़ा है,
मेरी माँ के पैरो से खुलता है.!!
💕 लव यू माँ 💕
( कभी माँ को भी ये घर मायका सा लगने दो )

ठीक है, ये उसका घर है। उसी का घर है।
लेकिन
फिर भी कभी माँ को ये घर, मायका सा लगने दो।।

जागने दो कभी उसे भी देर से
नल आने का समय हो या बाई छुट्टी पर हो।
छोटी छोटी समस्याओं से उसे भी कभी मुक्ति दो।
कभी माँ को भी ये घर, मायका सा लगने दो।।

आज बना लेने दो उसको सब्जी पसंद की अपनी।
अधिक नहीं, बस थोड़ी सी, मदत करो तुम उसकी।।
उसकी पसंद और नापसंद पर ध्यान ज़रा तुम दो।
कभी माँ को भी ये घर, मायका सा लगने दो।

कभी सुबह उसके लिए तुम चाय बना लो।
पास बैठ कर अपने मन की बात कभी कह लो।
कभी उसकी बातें भी ध्यान से सुन लो।
अपना बड़प्पन उसे भी कभी महसूस होने दो।
कभी माँ को भी ये घर, मायका सा लगने दो।।

माँ को भी कभी आराम करने दो।
जिन हाँथों ने प्यार से तुम्हें पाला,
कभी उन्हीं हाँथों पर, अपना हाँथ रख दो।
कभी माँ को भी ये घर, मायका सा लगने दो।।☺-🙏❗


👌शाम को थक कर टूटे झोपड़े में सो जाता है वो मजदूर, जो शहर में ऊंची इमारतें बनाता है....


👌अमीर की बेटी पार्लर में जितना दे आती है, उतने में गरीब की बेटी अपने ससुराल चली जाती है....

👌कल एक इन्सान रोटी मांगकर ले गया और करोड़ों कि दुआयें दे गया, पता ही नहीँ चला की, गरीब वो था की मैं....

👌दीदार की तलब हो तो नजरें जमाये रखना ..क्यों कि 'नकाब' हो या 'नसीब' सरकता जरूर है''...

👌गठरी बाँध बैठा है अनाड़ी
साथ जो ले जाना था वो कमाया ही नहीं

👌मैं उस किस्मत का सबसे पसंदीदा खिलौना हूँ, वो रोज़ जोड़ती है मुझे फिर से तोड़ने के लिए....

👌जिस घाव से खून नहीं निकलता, समझ लेना वो ज़ख्म किसी अपने ने ही दिया है..

👌बचपन भी कमाल का था
खेलते खेलते चाहें छत पर सोयें या ज़मीन पर, आँख बिस्तर पर ही खुलती थी...

👌हर नई चीज अच्छी होती है लेकिन दोस्त पुराने ही अच्छे होते है....

👌ए मुसीबत जरा सोच के आ मेरे करीब कही मेरी माँ की दुवा तेरे लिए मुसीबत ना बन जाये....

👌खोए हुए हम खुद हैं, और ढूंढते भगवान को हैं...

👌अहंकार दिखा के किसी रिश्ते को तोड़ने से अच्छा है की,माफ़ी मांगकर वो रिश्ता निभाया जाये....

👌जिन्दगी तेरी भी, अजब परिभाषा है..सँवर गई तो जन्नत, नहीं तो सिर्फ तमाशा है...

👌खुशीयाँ तकदीर में होनी चाहिये, तस्वीर मे तो हर कोई मुस्कुराता है...

👌हम तो पागल हैं शौक़-ए-शायरी के नाम पर ही दिल की बात कह जाते हैं और कई इन्सान गीता पर हाथ रख कर भी सच नहीं कह पाते है…

👉Nice Story👈
 गाँव में एक किसान रहता था जो दूध से दही और मक्खन बनाकर बेचने का काम करता था..

एक दिन बीवी ने उसे मक्खन तैयार करके दिया वो उसे बेचने के लिए अपने गाँव से शहर की तरफ रवाना हुवा..

वो मक्खन गोल पेढ़ो की शकल मे बना हुवा था और हर पेढ़े का वज़न एक kg था..

शहर मे किसान ने उस मक्खन को हमेशा की तरह एक दुकानदार को बेच दिया,और दुकानदार से चायपत्ती,चीनी,तेल और साबुन व गैरह खरीदकर वापस अपने गाँव को रवाना हो गया..

किसान के जाने के बाद -

 .. .दुकानदार ने मक्खन को फ्रिज़र मे रखना शुरू किया.....उसे खयाल आया के क्यूँ ना एक पेढ़े का वज़न किया जाए, वज़न करने पर पेढ़ा सिर्फ 900 gm. का निकला, हैरत और निराशा से उसने सारे पेढ़े तोल डाले मगर किसान के लाए हुए सभी पेढ़े 900-900 gm.के ही निकले।
अगले हफ्ते फिर किसान हमेशा की तरह मक्खन लेकर जैसे ही दुकानदार की दहलीज़ पर चढ़ा..
दुकानदार ने किसान से चिल्लाते हुए कहा: दफा हो जा, किसी बे-ईमान और धोखेबाज़ शखस से कारोबार करना.. पर मुझसे नही।
900 gm.मक्खन को पूरा एक kg.कहकर बेचने वाले शख्स की वो शक्ल भी देखना गवारा नही करता..
किसान ने बड़ी ही आजिज़ी (विनम्रता) से दुकानदार से कहा "मेरे भाई मुझसे बद-ज़न ना हो हम तो गरीब और बेचारे लोग है,
हमारी माल तोलने के लिए बाट (वज़न) खरीदने की हैसियत कहाँ" आपसे जो एक किलो चीनी लेकर जाता हूँ उसी को तराज़ू के एक पलड़े मे रखकर दूसरे पलड़े मे उतने ही वज़न का मक्खन तोलकर ले आता हूँ।
👍👍👍👍👍👍👍👍👍
 जो हम दुसरो को देंगे,
             वहीं लौट कर आयेगा...

      चाहे वो इज्जत, सन्मान हो,
                       या फिर धोखा...!!👌🏻👌🏻


Police : _why didnt you report your stolen credit card ??_

Man : _The thief was spending less than my wife!!_ 😆
😝

Police: _then why did you report now?_

Man: _I think now the thief's wife started using it!_
😇😇😇😇😇😇😇😇

Sunday, August 14, 2016

7 Little Truths ( litmus tests in life )

1st
Don't let someone become a priority in your life, when you are just an option in their life. Relationships work best when they are balanced..

2nd
Never explain yourself to anyone. Because the person who likes you doesn't need it and the person who doesn't like you won't believe it..

3rd
When you keep saying you are busy, then you are never free.When you keep saying you have no time, then you will never have time. When you keep saying that you will do it tomorrow, then your tomorrow will never come..

4th
When we wake up in the morning, we have two simple choices. Go back to sleep and dream, or wake up and chase those dreams.
Choice is yours..

5th
We make them cry who care for us. We cry for those who never care for us. And we care for those who will never cry for us.This is the truth of life, it's strange but true. Once you realize this, it's never too late to change..

6th
Don't make promises when you are in joy. Don't reply when you are sad.
Don't take decision when you are angry.Think twice, act once..

7th
Time is like river. You can't touch the same water twice, because the flow that has passed will never pass again

 "Someone Asked Swami Vivekanand:
"What is poison ?"
He had given a great answer:
"Everything excess in life, is poison"....

Saturday, August 13, 2016

*Some Positive Thoughts*.

*Must Read*
✍🏻 *सुनने* की आदत डालो क्योंकि
ताने मारने वालों की कमी नहीं हैं।

✍🏻 *मुस्कराने* की आदत डालो क्योंकि
रुलाने वालों की कमी नहीं हैं

✍🏻 *ऊपर उठने* की आदत डालो क्योंकि टांग खींचने वालों की कमी नहीं है।

✍🏻 *प्रोत्साहित* करने की आदत डालो क्योंकि हतोत्साहित करने वालों की कमी नहीं है!!

✍🏻 *सच्चा व्यक्ति* ना तो नास्तिक होता है ना ही आस्तिक होता है ।
सच्चा व्यक्ति हर समय वास्तविक होता है......

✍🏻 *छोटी छोटी बातें दिल* में रखने से
बड़े बड़े रिश्ते कमजोर हो जाते हैं"

✍🏻 *कभी पीठ पीछे आपकी बात चले*
तो घबराना मत ...
बात तो
"उन्हीं की होती है"..
जिनमें कोई " बात " होती है

✍🏻 *"निंदा"* उसी की होती है जो"जिंदा" हैँ मरने के बाद तो सिर्फ "तारीफ" होती है।

*Be Positive..*👍

आज तक का सबसे सुदंर मैसेज ........

((((( भगवान की प्लानिंग )))))
.
एक बार भगवान से उनका सेवक कहता है,
भगवान-
आप एक जगह खड़े-खड़े थक गये होंगे,
.
एक दिन के लिए मैं आपकी जगह मूर्ति बन
कर
खड़ा हो जाता हूं, आप मेरा रूप धारण कर
घूम
आओ l
.
भगवान मान जाते हैं, लेकिन शर्त रखते हैं
कि
जो
भी लोग प्रार्थना करने आयें, तुम बस
उनकी
प्रार्थना सुन लेना कुछ बोलना नहीं,
.
मैंने उन सभी के लिए प्लानिंग कर रखी है,
सेवक
मान जाता है l
.
सबसे पहले मंदिर में बिजनेस मैन आता है और
कहता है, भगवान मैंने एक नयी फैक्ट्री
डाली
है,
उसे खूब सफल करना l
.
वह माथा टेकता है, तो उसका पर्स नीचे
गिर
जाता
है l वह बिना पर्स लिये ही चला जाता
है l
.
सेवक बेचैन हो जाता है. वह सोचता है
कि रोक
कर
उसे बताये कि पर्स गिर गया, लेकिन शर्त
की
वजह से वह नहीं कह पाता l
.
इसके बाद एक गरीब आदमी आता है और
भगवान
को कहता है कि घर में खाने को कुछ नहीं.
भगवान
मदद करो l
.
तभी उसकी नजर पर्स पर पड़ती है. वह
भगवान
का शुक्रिया अदा करता है और पर्स लेकर
चला
जाता है l
.
अब तीसरा व्यक्ति आता है, वह नाविक
होता
है l
.
वह भगवान से कहता है कि मैं 15 दिनों के
लिए
जहाज लेकर समुद्र की यात्रा पर जा
रहा हूं,
यात्रा में कोई अड़चन न आये भगवान..
.
तभी पीछे से बिजनेस मैन पुलिस के साथ
आता है
और कहता है कि मेरे बाद ये नाविक आया
है l
.
इसी ने मेरा पर्स चुरा लिया है,पुलिस
नाविक
को ले
जा रही होती है तभी सेवक बोल पड़ता
है l
.
अब पुलिस सेवक के कहने पर उस गरीब आदमी
को पकड़ कर जेल में बंद कर देती है.
.
रात को भगवान आते हैं, तो सेवक खुशी
खुशी
पूरा
किस्सा बताता है l
.
भगवान कहते हैं, तुमने किसी का काम
बनाया
नहीं,
बल्कि बिगाड़ा है l
.
वह व्यापारी गलत धंधे करता है,अगर
उसका
पर्स
गिर भी गया, तो उसे फर्क नहीं पड़ता
था l
.
इससे उसके पाप ही कम होते, क्योंकि वह
पर्स
गरीब इंसान को मिला था. पर्स
मिलने पर
उसके
बच्चे भूखों नहीं मरते.
.
रही बात नाविक की, तो वह जिस
यात्रा पर
जा रहा
था, वहां तूफान आनेवाला था,
.
अगर वह जेल में रहता, तो जान बच जाती.
उसकी
पत्नी विधवा होने से बच जाती. तुमने
सब
गड़बड़
कर दी l
.
कई बार हमारी लाइफ में भी ऐसी
प्रॉब्लम
आती है,
जब हमें लगता है कि ये मेरे साथ ही
क्यों हुआ l
.
लेकिन इसके पीछे भगवान की प्लानिंग
होती
है l
.
जब भी कोई प्रॉब्लमन आये. उदास मत
होना l
.
इस कहानी को याद करना और सोचना
कि जो
भी
होता है,i अच्छे के लिए होता है l

हो सके तो मुस्कुराहट बांट यार।
नातों में कुछ सरसराहट बांट यार॥

नीरस सी हो चली है जिंदगी बहुत।
थोडी सी इसमें शरारत बांट यार॥

जहां भी देखो ग़म पसरा है आंसू है।
थोडी सी नातों में हरारत बांट यार॥

नही पूछता कोई भी ग़म इक दूजे के।
लोगों में थोडी सी जियारत बांट यार॥

सब भाग रहे हैं यूं ही इक दूजे के पीछे।
अब सुकून की कोई ईबारत बांट यार॥

जीने का अंदाज़ न जानें कहां खो गया।
नफ़रत छोड प्यार मोहब्बत बांट यार॥

ज़िन्दगी न बीत जाये यूं ही दुख दर्द में।
बेचैनियों को कुछ तो राहत बांट यार॥

A Construction Supervisor from 16th Floor of a Building was calling a Worker on Ground Floor.

Because of noise
the Worker
did not hear his Call.

To draw Attention,
the Supervisor threw a 10 Rupee Note
in Front of Worker.

He picked up the Note, put it in His Pocket &
Continued to Work.

Again to Draw Attention the Supervisor threw 500 Rupee Note & the Worker did the same,

Now the Supervisor picked a small Stone & threw on the Worker.

The Stone hit the Worker.

This time the Worker looked Up &
the Supervisor Communicated with Him.
.
.
This Story is same as to our 'LIFE'...

God wants to Communicate with Us,
but We are Busy doing our Worldly Jobs.

Then, he give Us Small Gifts & Big Gifts......
We just keep them without looking from Where We Got it.
We are the Same.
Just keeping the gifts
without Thanking him,
We just say
We are LUCKY.

And when we are Hit with a Small Stone, which We call PROBLEMS,
then only We look Up & Communicate with him.
Thats why it is said. .....
He gives, gives and forgives
And
We get, get and forget.......

 😊Always thank God😊

औक़ात🤕

एक माचिस की तिल्ली
एक घी का लोटा
लकड़ियों के ढेर पे
कुछ घण्टे में राख.....
*बस इतनी-सी है*
*आदमी की औकात।*

एक बूढ़ा बाप शाम को मर गया
अपनी सारी ज़िन्दगी
परिवार के नाम कर गया।
कहीं रोने की सुगबुगाहट हो रही थी
तो कहीं फुसफुसाहट हो रही थी।
....अरे जल्दी ले जाओ जलाने
कौन रोयेगा सारी रात...
*बस इतनी-सी है*
*आदमी की औकात।*

मरने के बाद नीचे देखा
नज़ारे नज़र आ रहे थे,
मेरी मौत पे कुछ लोग
ज़बरदस्त रो रहे थे
और कुछ लोग ज़बरदस्ती
रो रहे थे।
नहीं रहा..नहीं रहा
चार दिन करेंगे बात...
*बस इतनी-सी है*
*आदमी की औकात।*

बेटा अच्छी तस्वीर बनवायेगा
सामने अगरबत्ती जलायेगा
खुश्बुदार फूलों की माला होगी
अखबार में अश्रुपूरित श्रद्धान्जली होगी।..
बाद में उस तस्वीर पे जाले भी कौन करेगा साफ़...
*बस इतनी-सी है*
*आदमी की औकात।* ,
👆👆👆👆👆👌👌👌👌 ,

Husband in a gud mood....Darling, तुम्हे याद है 25 साल पहले मेरे पास किराये का 1 कमरा, एक टेबल फैन, ब्लैक एंड वाइट टीवी, और एक साइकिल हुआ करती थी, ......

लेकिन मैं एक 25 साल की खूबसूरत लड़की के साथ रहता था।

आज मेरे पास centrally A/C bungalow, 4 LED TVs, limousine है, .....

लेकिन मैं एक 50 साल की औरत के साथ रहता हूँ....

पत्नी- don't worry dear, तुम अपने लिए एक 25 साल की खूबसरत लड़की ढूंढ लो, मैं तुम्हे यकीं दिलाती हूँ तुम वापस अपने आपको 1 किराये वाले कमरे, टेबल फैन, ब्लैक एंड वाइट टीवी, और साइकिल के साथ पाओगे.....

Women always rocks!!!!!
*शाँति और सूनापन*
                   
मैं सोता हूँ,घर में शाँति छा जाती है............
वो सोती है,घर में सूनापन छा जाता है ।।

मैं घर लौटता हूँ,घर में शाँति हो जाती है.........
वो घर लौटती है,घर में रौनक हो जाती है ।।

मैं सोकर उठता हूँ, घर में फरमाईशें गूँजती हैं...
वो सोकर उठती है,घर में पूजा की घंटियाँ गूँजती हैं ।।

मेरा घर लौटना,उसका आत्मविश्वास बढ़ाता है
उसका घर लौटना, घर में लक्ष्मी व अन्नपूर्णा का "वास" होता है।।

पत्नि सिर्फ़ चुटकुलों में उपहास की पात्र है,
अन्यथा
वो हमसफर , रक्षक व परिवार की शक्ति है।।

Wednesday, August 10, 2016

Heart touching lines

कभी कभी
आप अपनी जिंदगी से
निराश हो जाते हैं,
जबकि
दुनिया में उसी समय
कुछ लोग
आपकी जैसी जिंदगी
जीने का सपना देख रहे होते हैं।


घर पर खेत में खड़ा बच्चा
आकाश में उड़ते हवाई जहाज
को देखकर
उड़ने का सपना देख रहा होता है,
परंतु
उसी समय
उसी हवाई जहाज का पायलट
खेत ओर बच्चे को देख
घर लौटने का सपना
देख रहा होता है।

यही जिंदगी है।
जो तुम्हारे पास है उसका मजा लो।


अगर धन-दौलत रूपया पैसा ही
खुशहाल होने का सीक्रेट होता,
तो अमीर लोग नाचते दिखाई पड़ते,
लेकिन सिर्फ गरीब बच्चे
ऐसा करते दिखाई देते हैं।


अगर पाॅवर (शक्ति) मिलने से
सुरक्षा आ जाती
तो
नेता अधिकारी
बिना सिक्युरिटी के नजर आते।
परन्तु
जो सामान्य जीवन जीते हैं,
वे चैन की नींद सोते हैं।


अगर खुबसुरती और प्रसिद्धि
मजबूत रिश्ते कायम कर सकती
तो
सेलीब्रिटीज् की शादियाँ
सबसे सफल होती।
जबकि इनके तलाक
सबसे सफल होते हैं


इसलिए दोस्तों,
यह जिंदगी ......

सभी के लिए खुबसुरत है
इसको जी भरकर जीयों,
इसका भरपूर लुत्फ़ उठाओ
क्योंकि
जिदंगी ना मिलेगी दोबारा...


सामान्य जीवन जियें...
विनम्रता से चलें ...
और
ईमानदारी पूर्वक प्यार करें...

स्वर्ग यहीं है
एक ट्रक के पीछे एक
बड़ी अच्छी बात लिखी देखी....

"ज़िन्दगी एक सफ़र है,आराम से चलते रहो
उतार-चढ़ाव तो आते रहेंगें, बस गियर बदलते रहो"
 "सफर का मजा लेना हो तो साथ में सामान कम रखिए
और
जिंदगी का मजा लेना हैं तो दिल में अरमान कम रखिए !!

तज़ुर्बा है हमारा... . .. मिट्टी की पकड़ मजबुत होती है,
संगमरमर पर तो हमने .....पाँव फिसलते देखे हैं...!




👌👌👌👌😇😇

जिंदगी को इतना सिरियस लेने की जरूरत नही यारों,

यहाँ से जिन्दा बचकर कोई नही जायेगा!

जिनके पास सिर्फ सिक्के थे वो मज़े से भीगते रहे बारिश में ....

जिनके जेब में नोट थे वो छत तलाशते रह गए...

👌👌👌👌👌👌👌

पैसा इन्सान को ऊपर ले जा सकता है;
           
लेकिन इन्सान पैसा ऊपर नही ले जा सकता......

👌👌👌👌👌👌👌👌

कमाई छोटी या बड़ी हो सकती है....

पर रोटी की साईज़ लगभग सब घर में एक जैसी ही होती है।


  :👌 शानदार बात👌


इन्सान की चाहत है कि उड़ने को पर मिले,

और परिंदे सोचते हैं कि रहने को घर मिले...
                   
‬👌👌👌👌👌😇😇

कर्मो' से ही पहेचान होती है इंसानो की...

महेंगे 'कपडे' तो,'पुतले' भी पहनते है दुकानों में !!..

😎😎😇😇😇
😂बेस्ट भिखारी 😂
भिखारी ने एक घर में आवाज लगाई!
भिखारी: माई कुछ दे दे!!!

अंदर से एक महिला चिल्लाते हुए निकली 😈

महिला : दिखते तो हट्टे-कट्टे हो, भीख मांगते शर्म नहीं आती। 😤😤😬😁

भिखारी : बहन जी दिखती तो आप भी दीपिका पादुकोण और कटरीना कैफ जैसी सुंदर हो लेकिन गृहणीं बन के रह गयीं हैं। 😉😉

महिला : रूक, पिज्जा मंगवाती हुॅ तेरे लिए जाना मत।
 😂😍🤓😎🤗😜😝😇

Sunday, August 7, 2016

एक दिन चिड़िया बोली - मुझे छोड़ कर कभी उड़ तो नहीं जाओगे ?

चिड़ा ने कहा - उड़
जाऊं तो तुम पकड़ लेना.

चिड़िया-मैं तुम्हें पकड़
तो सकती हूँ,
पर फिर पा तो नहीं सकती!

यह सुन चिड़े की आँखों में आंसू आ गए और उसने अपने पंख तोड़ दिए और बोला अब हम
हमेशा साथ रहेंगे,

लेकिन एक दिन जोर से तूफान आया,
चिड़िया उड़ने लगी तभी चिड़ा बोला तुम उड़
जाओ मैं नहीं उड़ सकता !!

चिड़िया- अच्छा अपना ख्याल रखना, कहकर
उड़ गई !

जब तूफान थमा और चिड़िया वापस
आई तो उसने देखा की चिड़ा मर चुका था
और एक डाली पर लिखा था.....
""काश वो एक बार तो कहती कि मैं तुम्हें
नहीं छोड़ सकती""
तो शायद मैं तूफ़ान आने से
पहले नहीं मरता ।।
""
ज़िन्दगी के पाँच सच ~
सच नं. 1 -:
माँ के सिवा कोई वफादार नही हो सकता…!!!
────────────────────────
सच नं. 2 -:
गरीब का कोई दोस्त नही हो सकता…!!
────────────────────────
सच नं. 3 -:
आज भी लोग अच्छी सोच को नही,
अच्छी सूरत को तरजीह देते हैं…!!!
────────────────────────
सच नं. 4 -:
इज्जत सिर्फ पैसे की है, इंसान की नही…!!!
────────────────────────
सच न. 5 -:
जिस शख्स को अपना खास समझो….
अधिकतर वही शख्स दुख दर्द देता है…!!!
 गीता में लिखा है कि.......

अगर कोई इन्सान
बहुत हंसता है , तो अंदर से वो बहुत अकेला है

अगर कोई इन्सान बहुत सोता है , तो अंदर से
वो बहुत उदास है

अगर कोई इन्सान खुद को बहुत मजबूत दिखाता है और रोता नही , तो वो
अंदर से बहुत कमजोर है

अगर कोई जरा जरा सी
बात पर रो देता है तो वो बहुत मासूम और नाजुक दिल का है

अगर कोई हर बात पर
नाराज़ हो जाता है तो वो अंदर से बहुत अकेला
और जिन्दगी में प्यार की कमी महसूस करता है

लोगों को समझने की कोशिश कीजिये ,जिन्दगी किसी का इंतज़ार नही करती , लोगों को एहसास कराइए की वो आप के लिए कितने खास है!!!

1. अगर जींदगी मे कुछ पाना हो तो,,, तरीके बदलो....., ईरादे नही..

2. जब सड़क पर बारात नाच रही हो तो हॉर्न मार-मार के परेशान ना हो...... गाडी से उतरकर थोड़ा नाच लें..., मन शान्त होगा।
टाइम तो उतना लगना ही है..!

3. इस कलयुग में रूपया चाहे कितना भी गिर जाए, इतना कभी नहीं गिर पायेगा, जितना रूपये के लिए इंसान गिर चूका है...

सत्य वचन....

4. रास्ते में अगर मंदिर देखो तो,,, प्रार्थना नहीं करो तो चलेगा . . पर रास्ते में एम्बुलेंस मिले तब प्रार्थना जरूर करना,,, शायद कोई
जिन्दगी बच जाये

5. जिसके पास उम्मीद हैं, वो लाख बार हार के भी, नही हार सकता..!

6. बादाम खाने से उतनी अक्ल नहीं आती...
जितनी धोखा खाने से आती है.....!

7. एक बहुत अच्छी बात जो जिन्दगी भर याद रखिये,,, आप का खुश रहना ही आप का बुरा चाहने वालों के लिए सबसे बड़ी सजा है....!

8. खुबसूरत लोग हमेशा अच्छे नहीं होते, अच्छे लोग हमेशा खूबसूरत नहीं होते...!

9. रिश्ते और रास्ते एक ही सिक्के के दो पहलु हैं... कभी रिश्ते निभाते निभाते रास्ते खो जाते हैं,,, और कभी रास्तो पर चलते चलते रिश्ते बन जाते हैं...!

10. बेहतरीन इंसान अपनी मीठी जुबान से ही जाना जाता है,,,, वरना अच्छी बातें तो दीवारों पर भी लिखी होती है...!

11. दुनिया में कोई काम "impossible" नहीं,,, बस होसला और मेहनत की जरूरत है...l

पहले मैं होशियार थl, इसलिए दुनिया बदलने चला था,,, आज मैं समझदार हूँ, इसलिए खुद को बदल रहा हूँ...।।

🙏🙏


एक लड़की अपने ब्वॉयफ़्रेंड को अपने घर आने का रास्ता बता रही थी.!!
.
.
" देखो, बिल्डिंग के अंदर आकर बाईं तरफ़ लिफ़्ट है.!!
.
.
लिफ़्ट में आकर अपनी कोहनी से 9 नम्बर का बटन दबाना –जब नौवें फ़्लोर पर आ जाओ तो राइट हैंड पर दूसरा फ़्लैट हमारा है।
यहाँ आकर अपनी कोहनी से घंटी का बटना दबाना, मैं दरवाज़ा खोल दूंगी "
.
.
ब्वॉयफ़्रेंड: लेकिन स्वीटहार्ट ये सब बटन मैं उंगली से दबाऊंगा तो ज़्यादा आसानी होगी
.
.
.
.
.
.
.
लड़की: Oh My God!!!... मतलब तुम खाली हाथ आ रहे हो?!!!😂😂😂😂

झाँक रहे सब सबके आँगन
 अपने आँगन झांकें कौन ?

ढ़ूंढ़ रहे दुनियाँ में खामी ।
अपने मन में ताके कौन ?

सबके भीतर चोर छुपा है ।
 उसको अब ललकारे कौन ?

दुनियाँ सुधरे सब चिल्लाते ।
 खुद को आज सुधारे कौन ?

पर उपदेश कुशल बहुतेरे ।
 खुद पर आज विचारे कौन ?

हम सुधरें तो जग सुधरेगा
 इसी बात पे सब हैं मौन !...........यह एक छोटा सा संदेश है सब के लिए 🌹🌹🌹🙏🏼🙏🏼🙏🏼

*MEDICAL FITNESS*
((( PREVENTION IS BETTER THAN CURE )))

MEDICAL FITNESS:-
----------------------

       *CHOLESTEROL*
           ------------------
Cholesterol --- < 200
HDL --- 40 --- 60
LDL --- < 100
VLDL -- < 30
Triglycerides -- < 150
----------------------------

         *CHOLESTEROL*
         ----------------
Borderline --200 -- 239
High ---- > 240
V.High -- > 250
----------------------------

            *LDL*
           ------
Borderline --130 ---159
High --- 160 --- 189
V.High -- > 190
----------------------------

           *TRIGLYCERIDES*
           -----------------
Borderline - 150 -- 199
High -- 200 --- 499
V.High -- > 500
----------------------------

       
        *PLATELETS COUNT*
       ----------------------
1.50 Lac ---- 4.50 Lac
----------------------------

              *BLOOD*
             -----------
Vitamin-D -- 50 ---- 80
Uric Acid -- 3.50 --- 7.20
----------------------------

            *KIDNEY*
           ----------
Urea --- 17 --- 43
Calcium -- 8.80 -- 10.60
Sodium -- 136 --- 146
Protein -- 6.40 --- 8.30
----------------------------


           *HIGH BP*
          ----------
120/80 -- Normal
130/85 --Normal (Control)
140/90 -- High
150/95 -- V.High
----------------------------

         *LOW BP*
        ---------
120/80 -- Normal
110/75 -- Normal (Control)
100/70 -- Low
90//65 -- V.Low
----------------------------

              *SUGAR*
             ---------
Glucose (F) -- 70 --- 100
(12 hrs Fasting)
Glucose (PP) -- 70 --- 140
(2 hrs after eating)
Glucose (R) -- 70 --- 140
(After 2 hrs)
----------------------------
   
             *HAEMOGLOBIN*
            -------------------
Male -- 13 --- 17
Female -- 11 --- 15
RBC Count -- 4.50 -- 5.50
                           (million)
----------------------------

           *PULSE*
          --------
72 per minute (standard)
60 --- 80 p.m. (Normal)
40 -- 180 p.m.(abnormal)
----------------------------

          *TEMPERATURE*
          -----------------
98.4 F (Normal)
99.0 F Above (Fever)

Please help your Relatives, Friends by sharing this information....

*Heart Attacks And Drinking Warm Water:*

This is a very good article. Not only about the warm water after your meal, but about Heart Attack's . The Chinese and Japanese drink hot tea with their meals, not cold water, maybe it is time we adopt their drinking habit while eating. For those who like to drink cold water, this article is applicable to you. It is very Harmful to have Cold Drink/Water during a meal. Because, the cold water will solidify the oily stuff that you have just consumed. It will slow down the digestion. Once this 'sludge' reacts with the acid, it will break down and be absorbed by the intestine faster than the solid food. It will line the intestine. Very soon, this will turn into fats and lead to cancer . It is best to drink hot soup or warm water after a meal.

*French fries and Burgers*
are the biggest enemy of heart health. A coke after that gives more power to this demon. Avoid them for
your Heart's & Health.

Drink one glass of warm water just when you are about to go to bed to avoid clotting of the blood at night to avoid heart attacks or strokes.

A cardiologist says if everyone who reads this message sends it to 10 people, you can be sure that we'll save at least one life. ...

So, please be a true friend and send this article to people you care about.



😑 जिंदगी के सफ़र में चलते चलते हर मुकाम पर यही सवाल परेशान करता रहा....

*कुछ रह तो नहीं गया?*

😑 3 महीने के बच्चे को दाई के पास रखकर जॉब पर जानेवाली माँ को दाई ने पूछा... कुछ रह तो नहीं गया?
पर्स, चाबी सब ले लिया ना?
अब वो कैसे हाँ कहे?
पैसे के पीछे भागते भागते... सब कुछ पाने की ख्वाईश में वो जिसके लिये सब कुछ कर रही है ,
*वह ही रह गया है.....*

😑 शादी में दुल्हन को बिदा करते ही
शादी का हॉल खाली करते हुए दुल्हन की बुआ ने पूछा..."भैया, कुछ रह तो नहीं गया ना?
चेक करो ठीकसे ।
.. बाप चेक करने गया तो दुल्हन के रूम में कुछ फूल सूखे पड़े थे ।
 सब कुछ तो पीछे रह गया...
 25 साल जो नाम लेकर जिसको आवाज देता था लाड से...
 वो नाम पीछे रह गया और उस नाम के आगे गर्व से जो नाम लगाता था
 वो नाम भी पीछे रह गया अब ...

"भैया, देखा?
 कुछ पीछे तो नहीं रह गया?"
 बुआ के इस सवाल पर आँखों में आये आंसू छुपाते बाप जुबाँ से तो नहीं बोला....
पर दिल में एक ही आवाज थी...

*सब कुछ तो यही रह गया...*

😑 बडी तमन्नाओ के साथ बेटे को पढ़ाई के लिए विदेश भेजा था और वह पढ़कर वही सैटल हो गया ,
पौत्र जन्म पर बमुश्किल 3 माह का वीजा मिला था और चलते वक्त बेटे ने प्रश्न किया सब कुछ चैक कर लिया कुछ रह तो नही गया ?
क्या जबाब देते कि
*अब छूटने को बचा ही क्या है ....**

😑 60 वर्ष पूर्ण कर सेवानिवृत्ति की शाम पी ए ने याद दिलाया चेक कर ले सर कुछ रह तो नही गया ;
थोडा रूका और सोचा पूरी जिन्दगी तो यही आने- जाने मे बीत गई ; *अब और क्या रह गया होगा ।*

😑 "कुछ रह तो नहीं गया?
" शमशान से लौटते वक्त किसी ने पूछा । नहीं कहते हुए वो आगे बढ़ा...
पर नजर फेर ली,
एक बार पीछे देखने के लिए....पिता की चिता की सुलगती आग देखकर मन भर आया ।
 भागते हुए गया ,पिता के चेहरे की झलक तलाशने की असफल कोशिश की और वापिस लौट आया ।।

दोस्त ने पूछा... कुछ रह गया था क्या?

भरी आँखों से बोला...
*नहीं कुछ भी नहीं रहा अब...और जो कुछ भी रह गया है वह सदा मेरे साथ रहेगा* ।।

😑 एक बार समय निकालकर सोचे , शायद पुराना समय याद आ जाए, आंखें भर आएं और आज को जी भर जीने का मकसद मिल जाए।
........में अपने सभी दोस्तों से ये ही बोलना चाहता हूँ.......
यारों क्या पता
कब इस जीवन की शाम हो जाये.......
 इससे पहले ऐसा हो सब को गले लगा लो दो प्यार भरी बातें करलो.....

*ताकि कुछ छूट न जाये।।।।।*

😊😊😊😊

हर मध्यम व छोटे वर्ग किसान की है.
….
कहते हैं..
इन्सान सपना देखता है
तो वो ज़रूर पूरा होता है.

मगर
किसान के सपने
कभी पूरे नहीं होते
बड़े अरमान और कड़ी मेहनत से फसल तैयार करता है और जब तैयार हुई फसल को बेचने मंडी जाता है.

बड़ा खुश होते हुए जाता है.

बच्चों से कहता है
आज तुम्हारे लिये नये कपड़े लाऊंगा फल और मिठाई भी लाऊंगा,

पत्नी से कहता है..
तुम्हारी साड़ी भी कितनी पुरानी हो गई है फटने भी लगी है आज एक साड़ी नई लेता आऊंगा.

पत्नी:–"अरे नही जी..!"
"ये तो अभी ठीक है..!"
"आप तो अपने लिये
जूते ही लेते आना कितने पुराने हो गये हैं और फट भी तो गये हैं..!"

जब
किसान मंडी पहुँचता है .

ये उसकी मजबूरी है
वो अपने माल की कीमत खुद नहीं लगा पाता.

व्यापारी
उसके माल की कीमत
अपने हिसाब से तय करते हैं.

एक
साबुन की टिकिया पर भी उसकी कीमत लिखी होती है.

एक
माचिस की डिब्बी पर भी उसकी कीमत लिखी होती है.

लेकिन किसान
अपने माल की कीमत खु़द नहीं कर पाता .

खैर..
माल बिक जाता है,
लेकिन कीमत
उसकी सोच अनुरूप नहीं मिल पाती.

माल तौलाई के बाद
जब पेमेन्ट मिलता है.

वो सोचता है
इसमें से दवाई वाले को देना है, खाद वाले को देना है, मज़दूर को देना है ,

अरे हाँ,
बिजली का बिल
भी तो जमा करना है.

सारा हिसाब
लगाने के बाद कुछ बचता ही नहीं.

वो मायूस हो
घर लौट आता है
बच्चे उसे बाहर ही इन्तज़ार करते हुए मिल जाते हैं.

"पिताजी..! पिताजी..!" कहते हुये उससे लिपट जाते हैं और पूछते हैं:-
"हमारे नये कपडे़ नहीं ला़ये..?"

पिता:–"वो क्या है बेटा..,
कि बाजार में अच्छे कपडे़ मिले ही नहीं,
दुकानदार कह रहा था
इस बार दिवाली पर अच्छे कपडे़ आयेंगे तब ले लेंगे..!"

पत्नी समझ जाती है, फसल
कम भाव में बिकी है,
वो बच्चों को समझा कर बाहर भेज देती है.

पति:–"अरे हाँ..!"
"तुम्हारी साड़ी भी नहीं ला पाया..!"

पत्नी:–"कोई बात नहीं जी, हम बाद में ले लेंगे लेकिन आप अपने जूते तो ले आते..!"

पति:– "अरे वो तो मैं भूल ही गया..!"

पत्नी भी पति के साथ सालों से है पति का मायूस चेहरा और बात करने के तरीके से ही उसकी परेशानी समझ जाती है
लेकिन फिर भी पति को दिलासा देती है .

और अपनी नम आँखों को साड़ी के पल्लू से छिपाती रसोई की ओर चली जाती है.

फिर अगले दिन
सुबह पूरा परिवार एक नयी उम्मीद ,
एक नई आशा एक नये सपने के साथ नई फसल की तैयारी के लिये जुट जाता है.
….

ये कहानी
हर छोटे और मध्यम किसान की ज़िन्दगी में हर साल दोहराई जाती है
…..

हम ये नहीं कहते
कि हर बार फसल के
सही दाम नहीं मिलते,

लेकिन
जब भी कभी दाम बढ़ें, मीडिया वाले कैमरा ले के मंडी पहुच जाते हैं और खबर को दिन में दस दस बार दिखाते हैं.

कैमरे के सामने शहरी महिलायें हाथ में बास्केट ले कर अपना मेकअप ठीक करती मुस्कराती हुई कहती हैं..
सब्जी के दाम बहुत बढ़ गये हैं हमारी रसोई का बजट ही बिगड़ गया.
………

कभी अपने बास्केट को कोने में रख कर किसी खेत में जा कर किसान की हालत तो देखिये.

वो किस तरह
फसल को पानी देता है.

१५ लीटर दवाई से भरी हुई टंकी पीठ पर लाद कर छिङ़काव करता है,

२० किलो खाद की
तगाड़ी उठा कर खेतों में घूम-घूम कर फसल को खाद देता है.

अघोषित बिजली कटौती के चलते रात-रात भर बिजली चालू होने के इन्तज़ार में जागता है.

चिलचिलाती धूप में
सिर का पसीना पैर तक बहाता है.

ज़हरीले जन्तुओं 🦂🐍🐉
का डर होते भी
खेतों में नंगे पैर घूमता है.
……

जिस दिन
ये वास्तविकता
आप अपनी आँखों से
देख लेंगे, उस दिन आपके
किचन में रखी हुई सब्ज़ी, प्याज़, गेहूँ, चावल, दाल, फल, मसाले, दूध
सब सस्ते लगने लगेंगे.
🐅

🌾🌱🌽🌶🍆🍅🍍🍑🍒🍈🍓🍇🍉🍌🍋🍊🍐🍎🍏🐡🐐🐃🐏🐑🐖🐓🐁🕊🐄🐂🦃🐣 
कुछ हँस के
     बोल दिया करो,
कुछ हँस के
      टाल दिया करो,
यूँ तो बहुत
    परेशानियां है
तुमको भी
     मुझको भी,
मगर कुछ फैंसले
     वक्त पे डाल दिया करो,
न जाने कल कोई
    हंसाने वाला मिले न मिले..
इसलिये आज ही
      हसरत निकाल लिया करो !!
हमेशा समझौता
      करना सीखिए..
क्योंकि थोड़ा सा
      झुक जाना
 किसी रिश्ते को
         हमेशा के लिए
तोड़ देने से
           बहुत बेहतर है ।।।
किसी के साथ
     हँसते-हँसते
 उतने ही हक से
      रूठना भी आना चाहिए !
अपनो की आँख का
     पानी धीरे से
पोंछना आना चाहिए !
      रिश्तेदारी और
 दोस्ती में
    कैसा मान अपमान ?
बस अपनों के
     दिल मे रहना
आना चाहिए...!
🙏शुभ प्रभात🙏💐🌷💐🌷

papa ...................

रोज का खाना बनाने वाली माँ हमें याद रहती
है,
लेकिन जीवन भर क े खाने की
व्यवस्था करने वाला बाप हम भूल जाते हैं ।

माँ रोती है, बाप नहीं रो सकता, खुद का पिता मर जाये फ़िर
भी नहीं रो सकता,
क्योंकि छोटे भाईयों को
संभालना है,

माँ की मृत्यु हो जाये भी वह
नहीं रोता क्योंकि बहनों को सहारा देना होता है,

पत्नी हमेशा के लिये साथ छोड जाये फ़िर भी
नहीं रो सकता,

क्योंकि बच्चों को सांत्वना
देनी होती है ।

देवकी-यशोदा की तारीफ़ करना
चाहिये,
लेकिन बाढ में सिर पर टोकरा उठाये वासुदेव को
नहीं भूलना चाहिये...

राम भले ही
कौशल्या का पुत्र हो लेकिन उनके वियोग में तड़प कर जान देने वाले
दशरथ ही थे ।

पिता की एडी़ घिसी हुई
चप्पल देखकर उनका प्रेम समझ मे आता है,
उनकी
छेदों वाली बनियान देखकर हमें महसूस होता है कि
हमारे हिस्से के भाग्य के छेद उन्होंने ले लिये हैं...

लड़की को गाऊन ला देंगे,
बेटे को ट्रैक सूट ला देंगे,
लेकिन खुद पुरानी पैंट पहनते रहेंगे ।

बेटा कटिंग पर
पचास रुपये खर्च कर डालता है और बेटी
ब्यूटी पार्लर में,
लेकिन दाढी़
की क्रीम खत्म होने पर एकाध बार
नहाने के साबुन से ही दाढी बनाने वाला पिता
बहुतों ने देखा होगा...

बाप बीमार नहीं पडता,
बीमार
हो भी जाये तो तुरन्त अस्पताल नहीं जाते,
डॉक्टर ने एकाध महीने का आराम बता दिया तो
उसके माथे की सिलवटें गहरी हो
जाती हैं,

क्योंकि लड़की की
शादी करनी है,

बेटे की शिक्षा
अभी अधूरी है...
आय ना होने के बावजूद बेटे-बेटी को मेडिकल / इंजीनियरिंग
में प्रवेश करवाता है..

कैसे भी "ऎड्जस्ट" करके बेटे
को हर महीने पैसे भिजवाता है.. (वही
बेटा पैसा आने पर दोस्तों को पार्टी देता है) ।

किसी भी परीक्षा के परिणाम
आने पर माँ हमें प्रिय लगती है, क्योंकि वह
तारीफ़ करती है,
पुचकारती है,
हमारा गुणगान करती है,

लेकिन चुपचाप जाकर
मिठाई का पैकेट लाने वाला पिता अक्सर बैकग्राऊँड में चला जाता है...

पहली-पहली बार माँ बनने पर
स्त्री की खूब मिजाजपुर्सी
होती है,

खातिरदारी की जाती है (स्वाभाविक भी है..आखिर उसने  कष्ट उठाये हैं),

लेकिन अस्पताल के बरामदे में बेचैनी
से घूमने वाला,

ब्लड ग्रुप की मैचिंग और ब्लड की व्यवस्था के लिये परेसान ,

दवाईयों के लिये भागदौड करने वाले बेचारे बाप को सभी
नजरअंदाज कर देते हैं... ठोकर लगे या हल्का सा जलने पर
"ओ..माँ" शब्द ही बाहर निकलता है,

लेकिन बिलकुल
पास से एक ट्रक गुजर जाये तो "बाप..रे" ही मुँह से
निकलता है ।

दुनियाँ के हर पिताजी को समर्पित

बीवी गांव वाली हो या पढ़ी-लिखी, सभी औरतों का दिमाग ऊपर वाला एक ही फैक्टरी में बनाता है !!!!
😝
😝
आप उस दिमाग को जानना चाहते हैं ना..

➡चावल में पानी ज्यादा हुआ तो...
           💁 - "चावल नया था,"

➡रोटियाँ कड़क हो गई तो...
     💁- "कमबख्त ने अच्छा आटा पीस कर ही नहीं दिया,"

➡चाय ज्यादा मीठी हो गयी...
       💁 - "शक्कर ही मोटी थी"

चाय पतली हो गयी तो ...
💁"दूध में पानी ज्यादा था,"

➡शादी या किसी Function में जाते समय...
             💁 - "कौन सी साड़ी पहनूं ?"
"मेरे पास अच्छी साड़ी ही नहीं है !"

➡घर पर जल्दी आ गए तो...
             💁 -"आज जल्दी कैसे आ गए ?"

➡लेट हो गए तो....
         💁 - "इतने वक़्त तक कहाँ थे ?"

➡कोई चीज सस्ती मिल जाए तो...
    💁- "तुमको सभी फंसा देते हैं" ...

➡महंगी लाई तो...
         💁-"तुमको किसने कहा था लाने को ?"

➡खाने की तारीफ़ कर दो तो...
           💁 - "मैं तो रोज ऐसा ही खाना बनाती हूँ ."

➡खाने को गलत कहा तो...
    💁 - "तुमको तो मेरी कदर ही नहीं"....

➡कोई काम करो तो...
     💁 - "एक काम कभी ढंग से करते नहीं..".

➡और न किया तो...
 💁 - "तुम्हारे भरोसे रहे तो कोई काम नहीं होने वाला."..

नुस्खा यह है कि...👇
1 )खुद का ध्यान रखें,
2) शांत रहने का प्रयास करें.
3) डरना नहीं,
4) ईश्वर आपके साथ है...
         
       
🔵🔵🔵🔵😄😄😄🔵🔵🔵🔵
सभी विवाहित पुरुषों को प्रेषित😜


पत्नी बार बार मां पर इल्जाम लगाए जा
रही थी और पति बार बार उसको अपनी हद में
रहने की कह रहा था
लेकिन पत्नी चुप होने का नाम ही नही ले
रही थी व् जोर जोर से चीख चीखकर कह रही
थी कि
"उसने अंगूठी टेबल पर ही रखी थी और तुम्हारे
और मेरे अलावा इस कमरें मे कोई नही आया
अंगूठी हो ना हो मां जी ने ही उठाई है।।
बात जब पति की बर्दाश्त के बाहर हो गई तो
उसने पत्नी के गाल पर एक जोरदार तमाचा दे
मारा
अभी तीन महीने पहले ही तो शादी हुई थी ।
पत्नी से तमाचा सहन नही हुआ
वह घर छोड़कर जाने लगी और जाते जाते पति
से एक सवाल पूछा कि तुमको अपनी मां पर
इतना विश्वास क्यूं है..??
तब पति ने जो जवाब दिया उस जवाब को
सुनकर दरवाजे के पीछे खड़ी मां ने सुना तो
उसका मन भर आया पति ने पत्नी को बताया
कि
"जब वह छोटा था तब उसके पिताजी गुजर गए
मां मोहल्ले के घरों मे झाडू पोछा लगाकर जो
कमा पाती थी उससे एक वक्त का खाना
आता था
मां एक थाली में मुझे परोसा देती थी और
खाली डिब्बे को ढककर रख देती थी और
कहती थी मेरी रोटियां इस डिब्बे में है
बेटा तू खा ले
मैं भी हमेशा आधी रोटी खाकर कह देता था
कि मां मेरा पेट भर गया है मुझे और नही
खाना है
मां ने मुझे मेरी झूठी आधी रोटी खाकर मुझे
पाला पोसा और बड़ा किया है
आज मैं दो रोटी कमाने लायक हो गया हूं
लेकिन यह कैसे भूल सकता हूं कि मां ने उम्र के
उस पड़ाव पर अपनी इच्छाओं को मारा है,
वह मां आज उम्र के इस पड़ाव पर किसी अंगूठी
की भूखी होगी ....
यह मैं सोच भी नही सकता
तुम तो तीन महीने से मेरे साथ हो
मैंने तो मां की तपस्या को पिछले पच्चीस
वर्षों से देखा है...
यह सुनकर मां की आंखों से छलक उठे वह समझ
नही पा रही थी कि बेटा उसकी आधी
रोटी का कर्ज चुका रहा है या वह बेटे की
आधी रोटी का कर्ज...
🏻ज़रूर पढे अच्छा लगे तो अपने मित्रो को फॉरवर्ड करें

Saturday, August 6, 2016

कठोर किंतु सत्य

1- माचिस किसी दूसरी चीज
को जलाने से पहले खुद
को जलाती हैं..!
गुस्सा भी एक माचिस की तरह है..!
यह दुसरो को बरबाद करने से पहले
खुद को बरबाद करता है...
2- आज का कठोर व कङवा सत्य !!
चार रिश्तेदार एक दिशा में
तब ही चलते हैं ,
जब पांचवा कंधे पर हो...
3- कीचड़ में पैर फंस जाये तो नल के पास जाना चाहिए
मगर,
नल को देखकर कीचड़ में नही जाना चाहिए,
इसी प्रकार...
जिन्दगी में बुरा समय आ जाये
तो...
पैसों का उपयोग करना चाहिए
मगर...
पैसों को देखकर बुरे रास्ते पर नही जाना चाहिए...
4- रिश्तों की बगिया में एक रिश्ता नीम के पेड़ जैसा भी रखना,
जो सीख भले ही कड़वी देता हो पर
तकलीफ में मरहम भी बनता है...
5- परिवर्तन से डरना और संघर्ष से कतराना,
मनुष्य की सबसे बड़ी कायरता है...
6- जीवन का सबसे बड़ा गुरु वक्त होता है,
क्योंकि जो वक्त सिखाता है वो कोई नहीं सीखा सकता...
7- बहुत ही सुन्दर वर्णन है-
मस्तक को थोड़ा झुकाकर देखिए....अभिमान मर जाएगा
आँखें को थोड़ा भिगा कर देखिए.....पत्थर दिल पिघल जाएगा
दांतों को आराम देकर देखिए.........स्वास्थ्य सुधर जाएगा
जिव्हा पर विराम लगा कर देखिए.....क्लेश का कारवाँ गुज़र जाएगा
इच्छाओं को थोड़ा घटाकर देखिए......खुशियों का संसार नज़र आएगा...
8- पूरी जिंदगी हम इसी बात में गुजार देते हैं कि "चार लोग क्या कहेंगे",
और अंत में चार लोग बस यही कहते हैं कि "राम नाम सत्य है"...



😜😜😜
*Types of Ladies*

Technically there are 7 TYPES OF LADIES:

1. *HARD DISK lady*: Remembers everything forever.

2. *RAM lady*: Forgets about you the moment you leave.

3. *SCREENSAVER lady*: Just for looking.

4. *INTERNET lady*: Difficult to access.

5. *SERVER lady*: Always busy when needed

6. *MULTIMEDIA lady*: Looks beautiful but you can only look.

7. *VIRUS lady*: This type of lady is normally called *WIFE*, once enters your system, never leaves even if the system is formatted.

😝😝

Nice lines🐬

स्वर्ग में सब कुछ है लेकिन मौत नहीं है, 🐬
गीता में सब कुछ है लेकिन झूठ नहीं है,
दुनिया में सब कुछ है लेकिन किसी को सुकून नहीं है,
और 🐬
आज के इंसान में सब कुछ है लेकिन सब्र नहीं

किसी ने क्या खूब कहा है-🐬

ना खुशी खरीद पाता हू ना ही गम बेच पाता हूँ फिर भी मै ना जाने क्यु हर रोज कमाने जाता हूँ🐬

☘💃☘💃☘💃☘💃☘
कभी हमारे जहाज भी चला करते थे।
हवा में भी।
पानी में भी।

दो दुर्घटनाएं हुई।
सब कुछ डूब गया।
जहाज हवा मे उड़ाना छूट गया।
पानी में तैराना छूट गया।

एक बार क्लास में हवाई जहाज उड़ाया।
टीचर के सिर से टकराया।
स्कूल से निकलने की नौबत आ गई।
बहुत फजीहत हुई।
कसम दिलाई गई।
औऱ जहाज उडाना छूट गया।

वारिश के मौसम में,मां ने अठन्नी दी।
चाय के लिए दूध लाना था।कोई मेहमान आया था।
हमने गली की नाली में तैरते अपने जहाज में बिठा दी।
तैरते जहाज के साथ हम चल रहे थे।
ठसक के साथ।खुशी खुशी।
अचानक तेज बहाब आया।
जहाज डूब गया।
साथ में अठन्नी भी डूब गई।
ढूंढे से ना मिली।
मेहमान बिना चाय पीये चला गया।
फिर जमकर ठुकाई हुई।
घंटे भर मुर्गा बनाया गया।
औऱ हमारा पानी में जहाज तैराना भी बंद हो गया।

आज प्लेन औऱ क्रूज के सफर की बातें उन दिनों की याद दिलाती हैं।

बच्चे ने आठ हजार का मोबाइल गुमाया तो मां बोली, कोई
बात नहीं, पापा दूसरा दिला देंगे।
हमें अठन्नी पर मिली सजा याद आ गई।

फिर भी आलम यह है कि आज भी हमारे सर मां-बाप के चरणों में श्रद्धा से झुकते हैं।
औऱ हमारे बच्चे 'यार पापा,यार मम्मी' कहकर बात करते हैं।
हम प्रगतिशील से प्रगतिवान हो गये हैं।

कोई लौटा दे मेरे बीते हुए दिन।।🍀💃🏻🍀💃🏻🍀🅰
🍀🌸🍀 शुभ दिन 🍀🌸🍀


Thursday, August 4, 2016

*एक पिता ने अपने पुत्र की बहुत अच्छी तरह से परवरिश की !उसे अच्छी तरह से पढ़ाया, लिखाया ,*
*तथा उसकी सभी आर्थिक, शैक्षणिक , सभी कामनाओ की सभी तरह से पूर्ती की !* *फलस्वरूप उसका पुत्र एक सफल इंसान बना और एक* *मल्टी नेशनल कंपनी में सी इ ओ बन गया ! उच्च पद ,अच्छा वेतन, सभी सुख सुविधाए उसे कंपनी की और से प्रदान की गई !समय गुजरता गया उसका विवाह एक सुलक्षणा कन्या से हो गया ! और उसके एक सुन्दर कन्या भी होगई ! पिता अब बूढा हो चला था ! एक दिन पिता को पुत्र से मिलने की इच्छा हुई और वो पुत्र से मिलने उसके शहर में उसके ऑफिस में गया ! वहां उसने* *देखा की उसका पुत्र एक शानदार ऑफिस का मालिक बना हुआ है उसके ऑफिस में सेकड़ो कर्मचारी उसके मातहत कार्य कर रहे है ! ये सब देख कर पिता का सीना गर्व से फूल गया !वो चुपके से उसके चेंबर में पीछे से जाकर उसके कंधे पर हाथ रख कर खड़ा हो गया !और प्यार से अपने पुत्र से पुछा "इस दुनिया का सबसे शक्तिशाली इंसान कौन है"? पुत्र ने पिता को बड़े प्यार से हसते हुए कहा " मेरे आलावा कौन हो सकता है पिताजी "!पिता को इस जवाब की आशा नहीं थी, उसे विशवास था की उसका बेटा गर्व से कहेगा पिताजी इस दुनिया के सब से शक्तिशाली इंसान आप है जिन्होंने मुझे इस दुनिया का इतना शक्तिशाली बनाया !उनकी आँखे छलछला आई ! वो चेंबर के गेट को खोल कर बाहर निकलने लगे !उन्होंने एक बार पीछे मुड़ कर पुनः बेटे से पुछा एक बार फिर बताओ इस दुनिया का सब से शक्तिशाली इंसान कौन है ?पुत्र ने इस बार कहा "पिताजी आप है इस दुनिया के सब से शक्तिशाली इंसान "! पिता आश्चर्यचकित हो गए उन्होंने कहा "अभी तो तुम अपने आप को इस दुनिया का सब से शक्तिशाली इंसान बता रहे थे अब तुम मुझे बता रहे हो "! पुत्र ने हसते हुए उन्हें अपने सामने बैठाते हुए कहा "पिताजी उस समय आप का हाथ मेरे कंधे पर था , जिस पुत्र के कंधे पर या सर पर पिता का हाथ हो वो पुत्र तो दुनिया का सबसे शक्तिशाली इंसान ही होगा ना , बोलिए पिताजी" ! पिता की आँखे भर आई उन्होंने अपने पुत्र को कस कर के अपने गले लग लिया !*
*सच है जिस के कंधेपर या सर पर पिता का हाथ होता है वो इस दुनिया का सब से शक्तिशाली इंसान होता है !*
:----✍♌🅱


Sunday, July 31, 2016

| सातवां घड़ा |

एक गाँव में एक नाई अपनी पत्नी और बच्चों के साथ रहता था। नाई ईमानदार था, अपनी कमाई से संतुष्ट था। उसे किसी तरह का लालच नहीं था। नाई की पत्नी भी अपनी पति की कमाई हुई आय से बड़ी कुशलता से अपनी गृहस्थी चलाती थी। कुल मिलाकर उनकी जिंदगी बड़े आराम से हंसी-खुशी से गुजर रही थी।
नाई अपने काम में बहुत निपुण था। एक दिन वहाँ के राजा ने नाई को अपने पास बुलवाया और रोज उसे महल में आकर हजामत बनाने को कहा।
नाई ने भी बड़ी प्रसन्नता से राजा का प्रस्ताव मान लिया। नाई को रोज राजा की हजामत बनाने के लिए एक स्वर्ण मुद्रा मिलती थी।
इतना सारा पैसा पाकर नाई की पत्नी भी बड़ी खुश हुई। अब उसकी जिन्दगी बड़े आराम से कटने लगी। घर पर किसी चीज की कमी नहीं रही और हर महीने अच्छी रकम की बचत भी होने लगी। नाई, उसकी पत्नी और बच्चे सभी खुश रहने लगे।

एक दिन शाम को जब नाई अपना काम निपटा कर महल से अपने घर वापस जा रहा था, तो रास्ते में उसे एक आवाज सुनाई दी।
आवाज एक यक्ष की थी। यक्ष ने नाई से कहा, ‘‘मैंने तुम्हारी ईमानदारी के बड़े चर्चे सुने हैं, मैं तुम्हारी ईमानदारी से बहुत खुश हूँ और तुम्हें सोने की मुद्राओं से भरे सात घड़े देना चाहता हूँ। क्या तुम मेरे दिये हुए घड़े लोगे ?
नाई पहले तो थोड़ा डरा, पर दूसरे ही पल उसके मन में लालच आ गया और उसने यक्ष के दिये हुए घड़े लेने का निश्चय कर लिया।
नाई का उत्तर सुनकर उस आवाज ने फिर नाई से कहा, ‘‘ठीक है सातों घड़े तुम्हारे घर पहुँच जाएँगे।’’

नाई जब उस दिन घर पहुँचा, वाकई उसके कमरे में सात घड़े रखे हुए थे। नाई ने तुरन्त अपनी पत्नी को सारी बातें बताईं और दोनों ने घड़े खोलकर देखना शुरू किया। उसने देखा कि छः घड़े तो पूरे भरे हुए थे, पर सातवाँ घड़ा आधा खाली था।
नाई ने पत्नी से कहा—‘‘कोई बात नहीं, हर महीने जो हमारी बचत होती है, वह हम इस घड़े में डाल दिया करेंगे। जल्दी ही यह घड़ा भी भर जायेगा। और इन सातों घड़ों के सहारे हमारा बुढ़ापा आराम से कट जायेगा।
अगले ही दिन से नाई ने अपनी दिन भर की बचत को उस सातवें में डालना शुरू कर दिया। पर सातवें घड़े की भूख इतनी ज्यादा थी कि वह कभी भी भरने का नाम ही नहीं लेता था।

धीरे-धीरे नाई कंजूस होता गया और घड़े में ज्यादा पैसे डालने लगा, क्योंकि उसे जल्दी से अपना सातवाँ घड़ा भरना था।
नाई की कंजूसी के कारण अब घर में कमी आनी शुरू हो गयी, क्योंकि नाई अब पत्नी को कम पैसे देता था। पत्नी ने नाई को समझाने की कोशिश की, पर नाई को बस एक ही धुन सवार थी—सातवां घड़ा भरने की।
अब नाई के घर में पहले जैसा वातावरण नहीं था। उसकी पत्नी कंजूसी से तंग आकर बात-बात पर अपने पति से लड़ने लगी। घर के झगड़ों से नाई परेशान और चिड़चिड़ा हो गया।
एक दिन राजा ने नाई से उसकी परेशानी का कारण पूछा। नाई ने भी राजा से कह दिया अब मँहगाई के कारण उसका खर्च बढ़ गया है। नाई की बात सुनकर राजा ने उसका मेहताना बढ़ा दिया, पर राजा ने देखा कि पैसे बढ़ने से भी नाई को खुशी नहीं हुई, वह अब भी परेशान और चिड़चिड़ा ही रहता था।
एक दिन राजा ने नाई से पूछ ही लिया कि कहीं उसे यक्ष ने सात घड़े तो नहीं दे दिये हैं ? नाई ने राजा को सातवें घड़े के बारे में सच-सच बता दिया।

तब राजा ने नाई से कहा कि सातों घड़े यक्ष को वापस कर दो, क्योंकि सातवां घड़ा साक्षात लोभ है, उसकी भूख कभी नहीं मिटती।
नाई को सारी बात समझ में आ गयी। नाई ने उसी दिन घर लौटकर सातों घड़े यक्ष को वापस कर दिये।

घड़ों के वापस जाने के बाद नाई का जीवन फिर से खुशियों से भर गया था।

कहानी हमें बताती है कि हमें कभी लोभ नहीं करना चाहिए। भगवान ने हम सभी को अपने कर्मों के अनुसार चीजें दी हैं, हमारे पास जो है, हमें उसी से खुश रहना चाहिए। अगर हम लालच करे तो सातवें घड़े की तरह उसका कोई अंत नहीं होता।
| सातवां घड़ा |

एक गाँव में एक नाई अपनी पत्नी और बच्चों के साथ रहता था। नाई ईमानदार था, अपनी कमाई से संतुष्ट था। उसे किसी तरह का लालच नहीं था। नाई की पत्नी भी अपनी पति की कमाई हुई आय से बड़ी कुशलता से अपनी गृहस्थी चलाती थी। कुल मिलाकर उनकी जिंदगी बड़े आराम से हंसी-खुशी से गुजर रही थी।
नाई अपने काम में बहुत निपुण था। एक दिन वहाँ के राजा ने नाई को अपने पास बुलवाया और रोज उसे महल में आकर हजामत बनाने को कहा।
नाई ने भी बड़ी प्रसन्नता से राजा का प्रस्ताव मान लिया। नाई को रोज राजा की हजामत बनाने के लिए एक स्वर्ण मुद्रा मिलती थी।
इतना सारा पैसा पाकर नाई की पत्नी भी बड़ी खुश हुई। अब उसकी जिन्दगी बड़े आराम से कटने लगी। घर पर किसी चीज की कमी नहीं रही और हर महीने अच्छी रकम की बचत भी होने लगी। नाई, उसकी पत्नी और बच्चे सभी खुश रहने लगे।

एक दिन शाम को जब नाई अपना काम निपटा कर महल से अपने घर वापस जा रहा था, तो रास्ते में उसे एक आवाज सुनाई दी।
आवाज एक यक्ष की थी। यक्ष ने नाई से कहा, ‘‘मैंने तुम्हारी ईमानदारी के बड़े चर्चे सुने हैं, मैं तुम्हारी ईमानदारी से बहुत खुश हूँ और तुम्हें सोने की मुद्राओं से भरे सात घड़े देना चाहता हूँ। क्या तुम मेरे दिये हुए घड़े लोगे ?
नाई पहले तो थोड़ा डरा, पर दूसरे ही पल उसके मन में लालच आ गया और उसने यक्ष के दिये हुए घड़े लेने का निश्चय कर लिया।
नाई का उत्तर सुनकर उस आवाज ने फिर नाई से कहा, ‘‘ठीक है सातों घड़े तुम्हारे घर पहुँच जाएँगे।’’

नाई जब उस दिन घर पहुँचा, वाकई उसके कमरे में सात घड़े रखे हुए थे। नाई ने तुरन्त अपनी पत्नी को सारी बातें बताईं और दोनों ने घड़े खोलकर देखना शुरू किया। उसने देखा कि छः घड़े तो पूरे भरे हुए थे, पर सातवाँ घड़ा आधा खाली था।
नाई ने पत्नी से कहा—‘‘कोई बात नहीं, हर महीने जो हमारी बचत होती है, वह हम इस घड़े में डाल दिया करेंगे। जल्दी ही यह घड़ा भी भर जायेगा। और इन सातों घड़ों के सहारे हमारा बुढ़ापा आराम से कट जायेगा।
अगले ही दिन से नाई ने अपनी दिन भर की बचत को उस सातवें में डालना शुरू कर दिया। पर सातवें घड़े की भूख इतनी ज्यादा थी कि वह कभी भी भरने का नाम ही नहीं लेता था।

धीरे-धीरे नाई कंजूस होता गया और घड़े में ज्यादा पैसे डालने लगा, क्योंकि उसे जल्दी से अपना सातवाँ घड़ा भरना था।
नाई की कंजूसी के कारण अब घर में कमी आनी शुरू हो गयी, क्योंकि नाई अब पत्नी को कम पैसे देता था। पत्नी ने नाई को समझाने की कोशिश की, पर नाई को बस एक ही धुन सवार थी—सातवां घड़ा भरने की।
अब नाई के घर में पहले जैसा वातावरण नहीं था। उसकी पत्नी कंजूसी से तंग आकर बात-बात पर अपने पति से लड़ने लगी। घर के झगड़ों से नाई परेशान और चिड़चिड़ा हो गया।
एक दिन राजा ने नाई से उसकी परेशानी का कारण पूछा। नाई ने भी राजा से कह दिया अब मँहगाई के कारण उसका खर्च बढ़ गया है। नाई की बात सुनकर राजा ने उसका मेहताना बढ़ा दिया, पर राजा ने देखा कि पैसे बढ़ने से भी नाई को खुशी नहीं हुई, वह अब भी परेशान और चिड़चिड़ा ही रहता था।
एक दिन राजा ने नाई से पूछ ही लिया कि कहीं उसे यक्ष ने सात घड़े तो नहीं दे दिये हैं ? नाई ने राजा को सातवें घड़े के बारे में सच-सच बता दिया।

तब राजा ने नाई से कहा कि सातों घड़े यक्ष को वापस कर दो, क्योंकि सातवां घड़ा साक्षात लोभ है, उसकी भूख कभी नहीं मिटती।
नाई को सारी बात समझ में आ गयी। नाई ने उसी दिन घर लौटकर सातों घड़े यक्ष को वापस कर दिये।

घड़ों के वापस जाने के बाद नाई का जीवन फिर से खुशियों से भर गया था।

कहानी हमें बताती है कि हमें कभी लोभ नहीं करना चाहिए। भगवान ने हम सभी को अपने कर्मों के अनुसार चीजें दी हैं, हमारे पास जो है, हमें उसी से खुश रहना चाहिए। अगर हम लालच करे तो सातवें घड़े की तरह उसका कोई अंत नहीं होता।
| सातवां घड़ा |

एक गाँव में एक नाई अपनी पत्नी और बच्चों के साथ रहता था। नाई ईमानदार था, अपनी कमाई से संतुष्ट था। उसे किसी तरह का लालच नहीं था। नाई की पत्नी भी अपनी पति की कमाई हुई आय से बड़ी कुशलता से अपनी गृहस्थी चलाती थी। कुल मिलाकर उनकी जिंदगी बड़े आराम से हंसी-खुशी से गुजर रही थी।
नाई अपने काम में बहुत निपुण था। एक दिन वहाँ के राजा ने नाई को अपने पास बुलवाया और रोज उसे महल में आकर हजामत बनाने को कहा।
नाई ने भी बड़ी प्रसन्नता से राजा का प्रस्ताव मान लिया। नाई को रोज राजा की हजामत बनाने के लिए एक स्वर्ण मुद्रा मिलती थी।
इतना सारा पैसा पाकर नाई की पत्नी भी बड़ी खुश हुई। अब उसकी जिन्दगी बड़े आराम से कटने लगी। घर पर किसी चीज की कमी नहीं रही और हर महीने अच्छी रकम की बचत भी होने लगी। नाई, उसकी पत्नी और बच्चे सभी खुश रहने लगे।

एक दिन शाम को जब नाई अपना काम निपटा कर महल से अपने घर वापस जा रहा था, तो रास्ते में उसे एक आवाज सुनाई दी।
आवाज एक यक्ष की थी। यक्ष ने नाई से कहा, ‘‘मैंने तुम्हारी ईमानदारी के बड़े चर्चे सुने हैं, मैं तुम्हारी ईमानदारी से बहुत खुश हूँ और तुम्हें सोने की मुद्राओं से भरे सात घड़े देना चाहता हूँ। क्या तुम मेरे दिये हुए घड़े लोगे ?
नाई पहले तो थोड़ा डरा, पर दूसरे ही पल उसके मन में लालच आ गया और उसने यक्ष के दिये हुए घड़े लेने का निश्चय कर लिया।
नाई का उत्तर सुनकर उस आवाज ने फिर नाई से कहा, ‘‘ठीक है सातों घड़े तुम्हारे घर पहुँच जाएँगे।’’

नाई जब उस दिन घर पहुँचा, वाकई उसके कमरे में सात घड़े रखे हुए थे। नाई ने तुरन्त अपनी पत्नी को सारी बातें बताईं और दोनों ने घड़े खोलकर देखना शुरू किया। उसने देखा कि छः घड़े तो पूरे भरे हुए थे, पर सातवाँ घड़ा आधा खाली था।
नाई ने पत्नी से कहा—‘‘कोई बात नहीं, हर महीने जो हमारी बचत होती है, वह हम इस घड़े में डाल दिया करेंगे। जल्दी ही यह घड़ा भी भर जायेगा। और इन सातों घड़ों के सहारे हमारा बुढ़ापा आराम से कट जायेगा।
अगले ही दिन से नाई ने अपनी दिन भर की बचत को उस सातवें में डालना शुरू कर दिया। पर सातवें घड़े की भूख इतनी ज्यादा थी कि वह कभी भी भरने का नाम ही नहीं लेता था।

धीरे-धीरे नाई कंजूस होता गया और घड़े में ज्यादा पैसे डालने लगा, क्योंकि उसे जल्दी से अपना सातवाँ घड़ा भरना था।
नाई की कंजूसी के कारण अब घर में कमी आनी शुरू हो गयी, क्योंकि नाई अब पत्नी को कम पैसे देता था। पत्नी ने नाई को समझाने की कोशिश की, पर नाई को बस एक ही धुन सवार थी—सातवां घड़ा भरने की।
अब नाई के घर में पहले जैसा वातावरण नहीं था। उसकी पत्नी कंजूसी से तंग आकर बात-बात पर अपने पति से लड़ने लगी। घर के झगड़ों से नाई परेशान और चिड़चिड़ा हो गया।
एक दिन राजा ने नाई से उसकी परेशानी का कारण पूछा। नाई ने भी राजा से कह दिया अब मँहगाई के कारण उसका खर्च बढ़ गया है। नाई की बात सुनकर राजा ने उसका मेहताना बढ़ा दिया, पर राजा ने देखा कि पैसे बढ़ने से भी नाई को खुशी नहीं हुई, वह अब भी परेशान और चिड़चिड़ा ही रहता था।
एक दिन राजा ने नाई से पूछ ही लिया कि कहीं उसे यक्ष ने सात घड़े तो नहीं दे दिये हैं ? नाई ने राजा को सातवें घड़े के बारे में सच-सच बता दिया।

तब राजा ने नाई से कहा कि सातों घड़े यक्ष को वापस कर दो, क्योंकि सातवां घड़ा साक्षात लोभ है, उसकी भूख कभी नहीं मिटती।
नाई को सारी बात समझ में आ गयी। नाई ने उसी दिन घर लौटकर सातों घड़े यक्ष को वापस कर दिये।

घड़ों के वापस जाने के बाद नाई का जीवन फिर से खुशियों से भर गया था।

कहानी हमें बताती है कि हमें कभी लोभ नहीं करना चाहिए। भगवान ने हम सभी को अपने कर्मों के अनुसार चीजें दी हैं, हमारे पास जो है, हमें उसी से खुश रहना चाहिए। अगर हम लालच करे तो सातवें घड़े की तरह उसका कोई अंत नहीं होता।
| सातवां घड़ा |

एक गाँव में एक नाई अपनी पत्नी और बच्चों के साथ रहता था। नाई ईमानदार था, अपनी कमाई से संतुष्ट था। उसे किसी तरह का लालच नहीं था। नाई की पत्नी भी अपनी पति की कमाई हुई आय से बड़ी कुशलता से अपनी गृहस्थी चलाती थी। कुल मिलाकर उनकी जिंदगी बड़े आराम से हंसी-खुशी से गुजर रही थी।
नाई अपने काम में बहुत निपुण था। एक दिन वहाँ के राजा ने नाई को अपने पास बुलवाया और रोज उसे महल में आकर हजामत बनाने को कहा।
नाई ने भी बड़ी प्रसन्नता से राजा का प्रस्ताव मान लिया। नाई को रोज राजा की हजामत बनाने के लिए एक स्वर्ण मुद्रा मिलती थी।
इतना सारा पैसा पाकर नाई की पत्नी भी बड़ी खुश हुई। अब उसकी जिन्दगी बड़े आराम से कटने लगी। घर पर किसी चीज की कमी नहीं रही और हर महीने अच्छी रकम की बचत भी होने लगी। नाई, उसकी पत्नी और बच्चे सभी खुश रहने लगे।

एक दिन शाम को जब नाई अपना काम निपटा कर महल से अपने घर वापस जा रहा था, तो रास्ते में उसे एक आवाज सुनाई दी।
आवाज एक यक्ष की थी। यक्ष ने नाई से कहा, ‘‘मैंने तुम्हारी ईमानदारी के बड़े चर्चे सुने हैं, मैं तुम्हारी ईमानदारी से बहुत खुश हूँ और तुम्हें सोने की मुद्राओं से भरे सात घड़े देना चाहता हूँ। क्या तुम मेरे दिये हुए घड़े लोगे ?
नाई पहले तो थोड़ा डरा, पर दूसरे ही पल उसके मन में लालच आ गया और उसने यक्ष के दिये हुए घड़े लेने का निश्चय कर लिया।
नाई का उत्तर सुनकर उस आवाज ने फिर नाई से कहा, ‘‘ठीक है सातों घड़े तुम्हारे घर पहुँच जाएँगे।’’

नाई जब उस दिन घर पहुँचा, वाकई उसके कमरे में सात घड़े रखे हुए थे। नाई ने तुरन्त अपनी पत्नी को सारी बातें बताईं और दोनों ने घड़े खोलकर देखना शुरू किया। उसने देखा कि छः घड़े तो पूरे भरे हुए थे, पर सातवाँ घड़ा आधा खाली था।
नाई ने पत्नी से कहा—‘‘कोई बात नहीं, हर महीने जो हमारी बचत होती है, वह हम इस घड़े में डाल दिया करेंगे। जल्दी ही यह घड़ा भी भर जायेगा। और इन सातों घड़ों के सहारे हमारा बुढ़ापा आराम से कट जायेगा।
अगले ही दिन से नाई ने अपनी दिन भर की बचत को उस सातवें में डालना शुरू कर दिया। पर सातवें घड़े की भूख इतनी ज्यादा थी कि वह कभी भी भरने का नाम ही नहीं लेता था।

धीरे-धीरे नाई कंजूस होता गया और घड़े में ज्यादा पैसे डालने लगा, क्योंकि उसे जल्दी से अपना सातवाँ घड़ा भरना था।
नाई की कंजूसी के कारण अब घर में कमी आनी शुरू हो गयी, क्योंकि नाई अब पत्नी को कम पैसे देता था। पत्नी ने नाई को समझाने की कोशिश की, पर नाई को बस एक ही धुन सवार थी—सातवां घड़ा भरने की।
अब नाई के घर में पहले जैसा वातावरण नहीं था। उसकी पत्नी कंजूसी से तंग आकर बात-बात पर अपने पति से लड़ने लगी। घर के झगड़ों से नाई परेशान और चिड़चिड़ा हो गया।
एक दिन राजा ने नाई से उसकी परेशानी का कारण पूछा। नाई ने भी राजा से कह दिया अब मँहगाई के कारण उसका खर्च बढ़ गया है। नाई की बात सुनकर राजा ने उसका मेहताना बढ़ा दिया, पर राजा ने देखा कि पैसे बढ़ने से भी नाई को खुशी नहीं हुई, वह अब भी परेशान और चिड़चिड़ा ही रहता था।
एक दिन राजा ने नाई से पूछ ही लिया कि कहीं उसे यक्ष ने सात घड़े तो नहीं दे दिये हैं ? नाई ने राजा को सातवें घड़े के बारे में सच-सच बता दिया।

तब राजा ने नाई से कहा कि सातों घड़े यक्ष को वापस कर दो, क्योंकि सातवां घड़ा साक्षात लोभ है, उसकी भूख कभी नहीं मिटती।
नाई को सारी बात समझ में आ गयी। नाई ने उसी दिन घर लौटकर सातों घड़े यक्ष को वापस कर दिये।

घड़ों के वापस जाने के बाद नाई का जीवन फिर से खुशियों से भर गया था।

कहानी हमें बताती है कि हमें कभी लोभ नहीं करना चाहिए। भगवान ने हम सभी को अपने कर्मों के अनुसार चीजें दी हैं, हमारे पास जो है, हमें उसी से खुश रहना चाहिए। अगर हम लालच करे तो सातवें घड़े की तरह उसका कोई अंत नहीं होता।
| सातवां घड़ा |

एक गाँव में एक नाई अपनी पत्नी और बच्चों के साथ रहता था। नाई ईमानदार था, अपनी कमाई से संतुष्ट था। उसे किसी तरह का लालच नहीं था। नाई की पत्नी भी अपनी पति की कमाई हुई आय से बड़ी कुशलता से अपनी गृहस्थी चलाती थी। कुल मिलाकर उनकी जिंदगी बड़े आराम से हंसी-खुशी से गुजर रही थी।
नाई अपने काम में बहुत निपुण था। एक दिन वहाँ के राजा ने नाई को अपने पास बुलवाया और रोज उसे महल में आकर हजामत बनाने को कहा।
नाई ने भी बड़ी प्रसन्नता से राजा का प्रस्ताव मान लिया। नाई को रोज राजा की हजामत बनाने के लिए एक स्वर्ण मुद्रा मिलती थी।
इतना सारा पैसा पाकर नाई की पत्नी भी बड़ी खुश हुई। अब उसकी जिन्दगी बड़े आराम से कटने लगी। घर पर किसी चीज की कमी नहीं रही और हर महीने अच्छी रकम की बचत भी होने लगी। नाई, उसकी पत्नी और बच्चे सभी खुश रहने लगे।

एक दिन शाम को जब नाई अपना काम निपटा कर महल से अपने घर वापस जा रहा था, तो रास्ते में उसे एक आवाज सुनाई दी।
आवाज एक यक्ष की थी। यक्ष ने नाई से कहा, ‘‘मैंने तुम्हारी ईमानदारी के बड़े चर्चे सुने हैं, मैं तुम्हारी ईमानदारी से बहुत खुश हूँ और तुम्हें सोने की मुद्राओं से भरे सात घड़े देना चाहता हूँ। क्या तुम मेरे दिये हुए घड़े लोगे ?
नाई पहले तो थोड़ा डरा, पर दूसरे ही पल उसके मन में लालच आ गया और उसने यक्ष के दिये हुए घड़े लेने का निश्चय कर लिया।
नाई का उत्तर सुनकर उस आवाज ने फिर नाई से कहा, ‘‘ठीक है सातों घड़े तुम्हारे घर पहुँच जाएँगे।’’

नाई जब उस दिन घर पहुँचा, वाकई उसके कमरे में सात घड़े रखे हुए थे। नाई ने तुरन्त अपनी पत्नी को सारी बातें बताईं और दोनों ने घड़े खोलकर देखना शुरू किया। उसने देखा कि छः घड़े तो पूरे भरे हुए थे, पर सातवाँ घड़ा आधा खाली था।
नाई ने पत्नी से कहा—‘‘कोई बात नहीं, हर महीने जो हमारी बचत होती है, वह हम इस घड़े में डाल दिया करेंगे। जल्दी ही यह घड़ा भी भर जायेगा। और इन सातों घड़ों के सहारे हमारा बुढ़ापा आराम से कट जायेगा।
अगले ही दिन से नाई ने अपनी दिन भर की बचत को उस सातवें में डालना शुरू कर दिया। पर सातवें घड़े की भूख इतनी ज्यादा थी कि वह कभी भी भरने का नाम ही नहीं लेता था।

धीरे-धीरे नाई कंजूस होता गया और घड़े में ज्यादा पैसे डालने लगा, क्योंकि उसे जल्दी से अपना सातवाँ घड़ा भरना था।
नाई की कंजूसी के कारण अब घर में कमी आनी शुरू हो गयी, क्योंकि नाई अब पत्नी को कम पैसे देता था। पत्नी ने नाई को समझाने की कोशिश की, पर नाई को बस एक ही धुन सवार थी—सातवां घड़ा भरने की।
अब नाई के घर में पहले जैसा वातावरण नहीं था। उसकी पत्नी कंजूसी से तंग आकर बात-बात पर अपने पति से लड़ने लगी। घर के झगड़ों से नाई परेशान और चिड़चिड़ा हो गया।
एक दिन राजा ने नाई से उसकी परेशानी का कारण पूछा। नाई ने भी राजा से कह दिया अब मँहगाई के कारण उसका खर्च बढ़ गया है। नाई की बात सुनकर राजा ने उसका मेहताना बढ़ा दिया, पर राजा ने देखा कि पैसे बढ़ने से भी नाई को खुशी नहीं हुई, वह अब भी परेशान और चिड़चिड़ा ही रहता था।
एक दिन राजा ने नाई से पूछ ही लिया कि कहीं उसे यक्ष ने सात घड़े तो नहीं दे दिये हैं ? नाई ने राजा को सातवें घड़े के बारे में सच-सच बता दिया।

तब राजा ने नाई से कहा कि सातों घड़े यक्ष को वापस कर दो, क्योंकि सातवां घड़ा साक्षात लोभ है, उसकी भूख कभी नहीं मिटती।
नाई को सारी बात समझ में आ गयी। नाई ने उसी दिन घर लौटकर सातों घड़े यक्ष को वापस कर दिये।

घड़ों के वापस जाने के बाद नाई का जीवन फिर से खुशियों से भर गया था।

कहानी हमें बताती है कि हमें कभी लोभ नहीं करना चाहिए। भगवान ने हम सभी को अपने कर्मों के अनुसार चीजें दी हैं, हमारे पास जो है, हमें उसी से खुश रहना चाहिए। अगर हम लालच करे तो सातवें घड़े की तरह उसका कोई अंत नहीं होता।
पक्का भारतीय होने के लक्षण:-
1. होटल में खाने के बाद मुट्ठी भर सोंफ खाना।
2. हवाई यात्रा के बाद बैग से टैग नहीं उतारना।
3. सब्जी लेने के बाद मुफ़्त धनिये की मांग करना।
4.दीवाली पर मिले गिफ्ट को रिश्तेदार को सरका देना।
5. छह साल के बच्चे को 3 साल का बता कर आधी टिकट लेना।
6. रिमोट से लेकर मोबाइल तक की पीठ थोक कर चलाना।
7. शादी के कार्ड से गणेशजी उतारकर फ्रिज पर चिपकाना।
8. मोलभाव करते वक्त पिछली दुकान का हवाला देना।
9. गोलगप्पे खाने के बाद मुफ़्त में सुखी पापड़ी की जिद करना।
10. नई कार लेने के बाद छह महीने तक सीट की पन्नी नहीं उतारना।

😀😀😀


ये करवटों के सिलसिले कभी खत्म हो न पाएंगे
तेरे बिन हम दिलजले कभी चैन नहीं पाएंगे

ऐ चांद फासला बढ़ा, इतनी कि तुम खो जाओ
तेरी हसीन चांदनी में उन्हें हम भूल नहीं पाएंगे

बरसात के मौसम में शराबें तो पी ली हमने
क्या खबर थी भीगकर हम नशे में रह नहीं पाएंगे

आखिर किसी मुकाम पर मेरे मंजिल का निशां होगा
तेरी ऊंगली थामे बिना वहां तक चल नहीं पाएंगे


~~~मेरे जख्म गहरे हैं~~~

कुछ यादों के पहरे हैं
मोहब्बत के नखरे हैं
कदम बढाया जब भी हमने
ठोकर खाकर बिखरें हैं
पर हम गिरकर भी संभले हैं
मेरे जख्म गहरे हैं !

उजालों ने जब भी कश्मोकश में
अंधेरो से दोस्ती की है
हमने तन्हाई के आलम में
बेशक खुद से दुश्मनी की है
याद तेरे हैं , जजबात मेरे हैं
मेरे जख्म गहरे हैं !

मिलते मिलते बिछड़ा था कोई
मेरे दिल का टुकड़ा था कोई
आँखों में वो हँसता था
दिल में मेरे बसता था
अब यादों की परछाईं है
मीलो लम्बी तन्हाई है
अश्क भरे हैं दिल में मेरे
आँखों से मन के घावों तक
हर दर्द अब सहने हैं
मेरे जख्म गहरे हैं !

ज़िन्दगी के हर ख्वाब रुपहले हैं
कभी सुख कभी दुःख पहले हैं
हर सुख दुःख दिल को सहने हैं
ना किसी से कुछ कहने हैं
किसे कहें मेरे अपने हैं
मेरे जख्म गहरे हैं !

यह कविता क्यों ? ज़िन्दगी हर हाल में जिनी तो है सुख दुःख के अश्क पीने तो हैं हर जख्म भर जाते हैं वक़्त के मरहम से बस जियो ज़िन्दगी सच्चे मन से !

Thursday, July 28, 2016

कोई जाकर इन सडक पर बोर्ड
लगाने बालो को समझाओ
.
हर जगह लिखते है
घर पर आपका कोई
इंतजार कर रहा है
.
अगर लिखा जाए
घर पर बीबी इंतजार कर रही है
तो
बन्दे की स्पीड खुद ही कम हो जाएगी😊😂😜
एक गाँव के बाहर बने
शिवमंदिर मे चार-पाँच गंजेडी
रोज गाँजा पीते थे,
पिछले कई साल से जब भी वो
गाँजा पीते थे तब "बम भोले" का
जयकारा करते थे
चिल्लम की हर फुँक के साथ,
.
.
एक दिन खुद शिव जी उनके इस भक्ति
माध्यम से
प्रसन्न हो गये,
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वो एक साधारण मनुष्य के रूप मे उन गंजेडीयो के
पास आ कर बैठ गये,
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गंजेडीयो ने चिल्लम बनाना शुरू किया
तो एक गंजेडी ने शिव जी को
गाँजा आफर किया,
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प्रायः गंजेडीयो मे मेहमानवाजी
बडे उच्च स्तर की होती है,
इसलिए गंजेडीयो ने पहला चिल्लम
भोलेनाथ को ही दिया,
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एक फुँक मे ही शिव जी ने पुरा चिल्लम खाली कर
दिया ,
गंजेडीयो को लग गया कि ये कोई उच्च
कोटी का पीने वाला है,
फिर
उन्होने दुसरा चिल्लम बनाया
और फिर पहला मौका भोलेनाथ को दिया
,
शिव जी ने फिर एक फुँक मे ही पुरा चिल्लम खाली
कर दिया,
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हर फुँक के बाद एक गंजेडी, भोलेनाथ से पुछता रहा :
"नशा आया" ?
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जवाब मे शिव जी केवल मुस्कुरा के 'ना' मे सर हिला
देते,
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ऐसे कर के जब पाँच चिल्लम खाली हो गये तो
गंजेडी आखिरी चिल्लम भरने लगे तभी उनमे से एक
गंजेडी ने पुछा : " क्यों अभी भी नशा नही हुआ ? "
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तब शिव जी ने कहा : "जानते हो मै कौन हुँ ?"
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गंजेडी : "कौन हो भाऊ ? "
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शिव जी : " मै इस ससांर का सहाँरक, सभी भुत, प्रेत,
यक्ष, असुर, गंधर्व का स्वामी, ब्रम्हाड का
आदिवासी, हिमालय का निवासी हुँ,
आदि
अंत - प्रारंभ, नाश और नशा सब की सीमा
मुझसे
प्रारंभ होती है और मुझ पर ही खत्म, शकंर नाम है मेरा,
जिसको तुम लोग रोज याद करते हो "
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गंजेडी जोर से चिल्लाया : " अब इसको और
चिल्लम
मत देना बे , गाँजा चढ गया इसको
😄 😄 😄 😄 😄 😄 बम बम भोले
टूट-टूट के जुड़ने का हुनर काम आया बहुत ।
आख़िर इसी तरह आराम आया बहुत ।।

मैं आज़ फ़िर ख़ुद को समेट रहा हूँ ।
तेरा ख़याल फ़िर कल शाम आया बहुत ।।

वो जिससे बिछड़ने में एक लम्हा लगा ।
वो याद एक उम्र तमाम आया बहुत ।।

ज़िन्दगी में ये मक़ाम आया बहुत ।
मेरे नाम के साथ तेरा नाम आया बहुत ।।

उसने पत्थर फेंके, मैंने दीवार बना ली ।
और इस तरह, वो मेरे काम आया बहुत ।।
*"Walking"*is the best excercise.

*Walk Away* 🚶 from arguments that lead you to nowhere but anger.

*Walk Away* 🚶 from people who deliberately put you down.

*Walk Away* 🚶 from any thought that reduces your worth.

*Walk Away* 🚶 from failures and fears that stiffle your dreams.

*Walk Away* 🚶 from people who do not care for you and who are opportunistic.

The more you *Walk Away* 🚶 from things that poison your soul, the happier your life will be.

🌹Good Morning🌹