" आएगा सामने .. तो क्या होगा... ?
वो छा जायेगा .. तो क्या होगा... ?
.
चांदनी चाँद की .. है कितनी.. दिलकश...
चाँद निकल आएगा .. तो क्या होगा ?
.
बेहोश करती हैं .. ये झांकती.. आँखें...
हिज़ाब हट जायेगा .. तो क्या होगा.. ?
.
पर्दादारी .. अभी तो.. चलती है...
नज़र मिल जाएँगी .. तो क्या होगा...?
.
दूरियों में भी .. क़माल शिद्दत है...
पास आ जायेगा .. तो क्या होगा...?
.
सवाल अभी से .. आँखें करती हैं...
बड़ी हो जाएँगी .. तो क्या होगा..?
वो छा जायेगा .. तो क्या होगा... ?
.
चांदनी चाँद की .. है कितनी.. दिलकश...
चाँद निकल आएगा .. तो क्या होगा ?
.
बेहोश करती हैं .. ये झांकती.. आँखें...
हिज़ाब हट जायेगा .. तो क्या होगा.. ?
.
पर्दादारी .. अभी तो.. चलती है...
नज़र मिल जाएँगी .. तो क्या होगा...?
.
दूरियों में भी .. क़माल शिद्दत है...
पास आ जायेगा .. तो क्या होगा...?
.
सवाल अभी से .. आँखें करती हैं...
बड़ी हो जाएँगी .. तो क्या होगा..?
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