Wednesday, October 15, 2014

: जाम पे जाम पीने से क्या फायदा दोस्तों, रात को पी हुयी शराब सुबह उतर जाएगी, अरे पीना है तो दो बूंद बेवफा के पी के देख, सारी उमर नशे में गुज़र जाएगी.


 एक रात वो मिले ख्वाब में,हमने पुछा क्यों ठुकराया आपने.जब देखा तो उनकी आँखों में भी आंसू थे,फिर कैसे पूछते क्यों रुलाया आपने.



: खुशबू बनकर गुलों से उड़ा करते हैं, धुआं बनकर पर्वतों से उड़ा करते हैं, ये कैंचियाँ खाक हमें उड़ने से रोकेगी, हम परों से नहीं हौसलों से उड़ा करते हैं.



 कितनी आसान थी ज़िन्दगी तेरी राहें,मुशकिले हम खुद ही खरीदते है,और कुछ मिल जाये तो अच्छा होता,बहुत पा लेने पे भी यही सोचते है,



 कुछ कर के दिखा दिया, कि काम बहुत है,इस जहाँ मे जीतने वाले मुक़ाम बहुत है,मुकमल शख्स वही जो दुनिया को बदल डाले,रोज़ मर मिटने वाले नाम बहुत है.

No comments:

Post a Comment