" ज़िन्दगी "
बदलने के लिए लड़ना पड़ता है
और
आसान करने के लिए समझना पड़ता है
वक़्त आपका है
चाहे तो सोना बना लो
और
चाहे तो सोने में गुज़ार दो
कुछ अलग करना है तो भीड़ से हटकर चलो ।
भीड़ साहस तो देती है पर पहचान छीन लेती है।
झाड़ू जब तक एक सूत्र में बँधी होती है,
तब तक
वह "कचरा" साफ करती है।
लेकिन वही झाड़ू जब बिखर जाती है तो खुद
कचरा हो जाती है।
इस लिये हमेशा परिवार से बंधे रहे, बिखर कर कचरा न बने ।
उपवास अन्न का ही नहीं, बुरे विचारों का भी करो ।
सरल बनो, स्मार्ट नहीं, क्योंकि हमें ईश्वर ने बनाया है, सैमसंग ने नहीं।
आपके पास मारुति हो या बीएमडब्ल्यू - सड़क वही रहेगी |
आप टाइटन पहने या रोलेक्स - समय वही रहेगा |
आपके पास मोबाइल एप्पल का हो या सेमसंग - आपको कॉल करने वाले लोग नहीं बदलेंगे |
आप इकॉनामी क्लास में सफर करें या बिज़नस में - आपका समय तो उतना ही लगेगा |
आवश्यकताएँ पूरी हो सकती है, तृष्णा नहीं |
एक सत्य ये भी है कि धनवानो का आधा धन तो ये जताने में चला जाता है की वे भी धनवान हैं |
कमाई छोटी या बड़ी हो सकती है....
पर रोटी की साईज़ सब घर में एक जैसी ही होती है।🙏🙏😀
बदलने के लिए लड़ना पड़ता है
और
आसान करने के लिए समझना पड़ता है
वक़्त आपका है
चाहे तो सोना बना लो
और
चाहे तो सोने में गुज़ार दो
कुछ अलग करना है तो भीड़ से हटकर चलो ।
भीड़ साहस तो देती है पर पहचान छीन लेती है।
झाड़ू जब तक एक सूत्र में बँधी होती है,
तब तक
वह "कचरा" साफ करती है।
लेकिन वही झाड़ू जब बिखर जाती है तो खुद
कचरा हो जाती है।
इस लिये हमेशा परिवार से बंधे रहे, बिखर कर कचरा न बने ।
उपवास अन्न का ही नहीं, बुरे विचारों का भी करो ।
सरल बनो, स्मार्ट नहीं, क्योंकि हमें ईश्वर ने बनाया है, सैमसंग ने नहीं।
आपके पास मारुति हो या बीएमडब्ल्यू - सड़क वही रहेगी |
आप टाइटन पहने या रोलेक्स - समय वही रहेगा |
आपके पास मोबाइल एप्पल का हो या सेमसंग - आपको कॉल करने वाले लोग नहीं बदलेंगे |
आप इकॉनामी क्लास में सफर करें या बिज़नस में - आपका समय तो उतना ही लगेगा |
आवश्यकताएँ पूरी हो सकती है, तृष्णा नहीं |
एक सत्य ये भी है कि धनवानो का आधा धन तो ये जताने में चला जाता है की वे भी धनवान हैं |
कमाई छोटी या बड़ी हो सकती है....
पर रोटी की साईज़ सब घर में एक जैसी ही होती है।🙏🙏😀
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