Friday, January 30, 2015

एक बार एक कसाई गाय को
काट रहा था
और गाय हँस रही थी....
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ये सब देख के कसाई बोला..

"मै तुम्हे मार रहा हू
और तुम मुझपर हँस क्यो रही हो...?"
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गाय बोलीः जिन्दगी भर मैने घास के
सिवा कुछ नही खाया...
फिर भी मेरी मौत इतनी दर्दनाक है.
तो
हे इंसान जरा सोच
तु मुझे मार के खायेगा तो
तेरा अंत
कैसा होगा...?
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plzzzz share
दूध पिला कर 🐄
मैंने तुमको बड़ा किया...🐄
अपने बच्चे से भी छीना 🐄
पर मैंने तुमको दूध दिया🐄...

रूखी सूखी खाती थी मैं, 🐄
कभी न किसी को सताती थी मैं...🐄
कोने में पड़ जाती थी मैं, 🐄
दूध नहीं दे सकती मैं,🐄

अब तो गोबर से काम तो आती थी मैं,मेरे उपलों की🐄 आग से तूने, 🐄
भोजन अपना पकाया था...🐄
गोबर गैस से रोशन कर के, 🐄
तेरा घर उजलाया था...🐄

क्यों मुझको बेच रहा रे, 🐄
उस कसाई के हाथों में...??🐄
पड़ी रहूंगी इक कोने में, 🐄
मत कर लालच माँ हूँ मैं...🐄

मैं हूँ तेरे कृष्ण की प्यारी, 🐄

वह कहता था जग से न्यारी...🐄
उसकी बंसी की धुन पर मैं, 🐄
भूली थी यह दुनिया सारी..🐄.

मत कर बेटा तू यह पाप,🐄
अपनी माँ को न बेच आप...🐄
रूखी सूखी खा लूँगी मैं 🐄
किसी को नहीं सताऊँगी मैं 🐄
तेरे काम ही आई थी मैं🐄
तेरे काम ही आउंगी मैं...🐄

अगर आप गौमाता से प्यार करते हैं🐄
और आपने गौमाता का दूध पिया है1🐄
तो इस मेसेज को शेयर करके थोडा बहुत दूध का कर्ज🐄 चुकता करे....🐄...!!!!

सर्व कि एक पुकार...🐄.!🐄
गौ हत्या अब नहीं स्वीकार....!!🐄

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