एक बार संता अपनी बीवी के साथ ट्रेन मे सफर कर रहा था.
अचानक संता की बीवी को सर्दी
लगने लगी तो उसने संता से खिङकी बंद करने के लिए कहा.
संता खिङकी के पास गया और
खिङकी को नीचे धकेलने लगा लेकिन खिङकी बंद नही हुई
तभी अचानक एक बूढा जो सामने की सीट पर बैठा था खिङकी के पास आया और एक झटके मे ही खिङकी को बंद करते हुए संता से बोला, - "बेटा कुछ खा लिया करो"
थोङी देर बाद संता की बीवी संता से बोली मुझे गर्मी लग रही है वो खिङकी खोल दो,
संता खिङकी के पास गया और खिङकी खोलने का प्रयास किया
लेकिन इस बार भी संता असफल
रहा तभी वही बुढा उठा और एक
झटके मे खिङकी खोलते हुए वही
बात दोहराई,
"कि बेटा कुछ खा लिया करो"
संता को इस बात से शर्म महसुस हुई और उसने बदला लेने की सोची.
संता उठा और ट्रेन रुकने वाली चैन को पकङकर ऐसे हावभाव करने लगा कि मानो वह चैन को खीचंना चाहता हो
तभी वही बूढा उठा और झट से चैन को खींच दिया और वही
बात बोला,
"बेटा कुछ खा लिया कर"
ट्रेन रुक गई और टीटई ने बिना कारण चैन खींचने पर बुढे को पकङ लिया.
जब टीटीई बुढे को पकङकर ले जा रहा था तो बूढा गुस्से मे संता की और देखने लगा.
तभी संता मुस्कुराते हुए बोला,
"ताऊ थोङा कम खाया करो"
😀
अचानक संता की बीवी को सर्दी
लगने लगी तो उसने संता से खिङकी बंद करने के लिए कहा.
संता खिङकी के पास गया और
खिङकी को नीचे धकेलने लगा लेकिन खिङकी बंद नही हुई
तभी अचानक एक बूढा जो सामने की सीट पर बैठा था खिङकी के पास आया और एक झटके मे ही खिङकी को बंद करते हुए संता से बोला, - "बेटा कुछ खा लिया करो"
थोङी देर बाद संता की बीवी संता से बोली मुझे गर्मी लग रही है वो खिङकी खोल दो,
संता खिङकी के पास गया और खिङकी खोलने का प्रयास किया
लेकिन इस बार भी संता असफल
रहा तभी वही बुढा उठा और एक
झटके मे खिङकी खोलते हुए वही
बात दोहराई,
"कि बेटा कुछ खा लिया करो"
संता को इस बात से शर्म महसुस हुई और उसने बदला लेने की सोची.
संता उठा और ट्रेन रुकने वाली चैन को पकङकर ऐसे हावभाव करने लगा कि मानो वह चैन को खीचंना चाहता हो
तभी वही बूढा उठा और झट से चैन को खींच दिया और वही
बात बोला,
"बेटा कुछ खा लिया कर"
ट्रेन रुक गई और टीटई ने बिना कारण चैन खींचने पर बुढे को पकङ लिया.
जब टीटीई बुढे को पकङकर ले जा रहा था तो बूढा गुस्से मे संता की और देखने लगा.
तभी संता मुस्कुराते हुए बोला,
"ताऊ थोङा कम खाया करो"
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